प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर आधारित BBC की डॉक्यूमेंट्री ‘इंडिया- द मोदी क्वेश्चन’ को लेकर केंद्र सरकार ने सख्त रुख अपनाया है। देश के मशहूर संस्थान जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) में मंगलवार (24 जनवरी 2023) को दिखाई जाने वाली इस डॉक्यूमेंट्री की स्क्रीनिंग को रोकने के लिए एडवाइजरी जारी की गई है। जेएनयू प्रशासन ने इस एडवाइजरी को जारी करते हुए कहा है कि इस तरह की गतिविधि से विश्वविद्यालय में शांति और सद्भाव भंग हो सकती है। इसके साथ ही जेएनयू प्रशासन ने चेतावनी देते हुए कहा कि आदेश की अवहेलना करने वाले छात्रों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
छात्रों ने जारी किया था पैम्फलेट
जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) प्रशासन का यह आदेश छात्रों के एक समूह द्वारा मंगलवार को डॉक्यूमेंट्री की स्क्रीनिंग के लिए पैम्फलेट जारी करने के बाद आया है। जेएनयू प्रशासन द्वारा जारी एडवाइजरी जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्र संघ के नाम पर जारी की गयी है। जिसमें कहा गया है कि इस तरह की गतिविधि से विश्वविद्यालय में शांति और सद्भाव भंग हो सकती है। एडवाइजरी में लिखा है ‘
“प्रशासन के संज्ञान में आया है कि छात्रों के एक समूह ने जेएनयूएसयू के नाम पर एक डॉक्यूमेंट्री/फिल्म “इंडिया: द मोदी क्वेश्चन” की स्क्रीनिंग के लिए एक पैम्फलेट जारी किया है, जो 24 जनवरी 2023 को रात 9:00 बजे टेफ्लास में निर्धारित किया गया है। इस कार्यक्रम के लिए जेएनयू प्रशासन से कोई पूर्व अनुमति नहीं ली गई है। यह इस बात पर जोर देने के लिए है कि इस तरह की अनधिकृत गतिविधि से विश्वविद्यालय परिसर की शांति और सद्भाव भंग हो सकता है। प्रशासन ने छात्रों को को सलाह दी है कि एडवायजरी का पालन नहीं करने पर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की चेतावनी की जाएगी इसलिए इस कार्यक्रम को रद्द कर दें।”
केंद्र सरकार ने बताया प्रोपेगेंडा का हिस्सा
केंद्र सरकार ने गुजरात दंगों पर बीबीसी (BBC)की डॉक्यूमेंट्री को ‘प्रोपेगेंडा का हिस्सा’ बताया है और कहा है कि वह ऐसी फिल्म का ‘महिमामंडन’ नहीं कर सकती। सरकार की ओर से कहा गया कि प्रधानमंत्री पर बीबीसी की डॉक्यूमेंटी दुष्प्रचार, पक्षपाती और औपनिवेशक मानसिकता को दर्शाती है।
Compiled: up18 News
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