30 साल पुराने सपाई विजय सचान ने छोड़ी पार्टी, लगाया सनातन से बैर का आरोप

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राजनीति में सक्रिय थे विजय सचान

विजय सचान का कद घाटमपुर की राजनीति में काफी बड़ा है। वह कोई चुनाव जीत तो नहीं पाए लेकिन, उनकी हार का अंतर मामूली रहा। वर्ष 1991 , 93,96 व 2002 में वह घाटमपुर विधान सभा से चुनाव लड़े और पराजित हुए। बीते वर्ष उनकी पत्नी घाटमपुर नगर पालिका के चेयरमैन पद का चुनाव भी मामूली अंतर से हारे थे। सपा का आधार वोट ही उन्हें नहीं मिला था।

भाभी जिला पंचायत सदस्य

विजय सचान की भाभी वर्तमान में परास से जिला पंचायत सदस्य हैं। उनकी जीत में भी विजय सचान का ही उनका ही योगदान था। बताया कि पार्टी द्वारा लगातार उपेक्षा किए जाने और राम मंदिर पर पार्टी के स्टैंड से वह आहत थे।

इसलिए उन्होंने यह फैसला लिया है। भविष्य में वह किस पार्टी का दामन थामेंगे अभी उन्होंने यह नहीं बताया है।
फिलहाल उनका पार्टी छोड़ना घाटमपुर क्षेत्र में सपा के लिए झटका है। कुर्मी मतदाताओं का एक बड़ा तबका उनके साथ है। ऐसे में उनके पार्टी छोड़ने का अकबरपुर लोकसभा सीट पर बड़ा असर पड़ेगा।

-एजेंसी