आगरा छावनी जीआरपी ने पुलिस की वर्दी पहनकर ट्रेनों में कीमती गहने व अन्य सामान पार करने वाले तीन शातिर बदमाशों को गिरफ्तार किया। इनके पास से चोरी किया सामान भी बरामद हुआ। तीनों पहले भी कई बार जेल जा चुके हैं। एक माह पहले तेलागांना एक्सप्रेस करीब और दो माह पूर्व दक्षिण एक्सप्रेस व अन्य ट्रेनों चोरी-लूट की दर्जनों घटनाए कर चुके हैं।
जीआरपी थाना प्रभारी ने बताया कि चेकिंग को दौरान तीन संदिग्ध व्यक्ति नजर आए। इनसे पूछताछ की गई तो ये अंतरराज्यीय गिरोह के सदस्य निकले। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि तीनों अपने साथियों के साथ मिलकर योजनाबद्ध तरीके से चलती ट्रेनों में दिल्ली से झांसी के मध्य चोरी और लूट की वारदातें करते थे।
इनका एक साथी लोकेश मध्यप्रदेश पुलिस की वर्दी पहनकर ट्रेन में चढ़ता था। बाकी साथी भी उसके साथ चलते थे। वे एसी या स्लीपर कोच में बैठ जाते थे। पुलिस की वर्दी पहने होने के कारण टीटीई और पुलिसकर्मी उससे कुछ नहीं कहते थे। उसके चलते बाकी साथी भी बच जाते थे। इसके बाद सभी लोग पूरी ट्रेन में घूमते थे। इनके निशाने पर ऐसे लोग होते थे जो शादी समारोह में सम्मिलित होने या कीमती सामान लेकर सफर कर रहे होते थे।
लोकेश पुलिस की वर्दी का फायदा उठाते हुए उनके पास बैठ जाता था। फिर सब वहां पर जाते। इसके बाद वो उनसे मेलजोल बढ़ा लेते थे। मौका पाकर लोकेश महिला यात्रियों के हैंड बैग, मोबाइल फोन चोरी करके अपने साथियों को दे देता था, जिसे लेकर वे लोग ट्रेन के अन्य कोच या बाथरूम के पास जाकर बैगों में रखे कीमती सामान सोने चांदी के आभूषण, मोबाइल फोन, नगदी आदि को निकालकर खाली बैग को वही फेंक देते थे। जैसे ही ट्रेन की गति धीमी होती या किसी रेलवे स्टेशन पर रुकती तो वे लोग उतर जाते थे और अपने साथी लोकेश के साथ आसानी से रेलवे स्टेशन से बहार निकल जाते थे। वर्दी पहनने के कारण उन लोगों पर कोई शक नहीं करता। चोरी से जो भी सामान मिलता है, उसे हम लोग आपस में बराबर-बराबर बांट लेते थे।
जीआरपी ने इन बदमाशों के कब्जे से एक हार, एक चेन, एक अंगूठी, एक जोड़ी टॉप्स, एक मंगलसूत्र (सभी सोने के) के अलावा दो मोबाइल फोन भी बरामद किए हैं। बदमाश मध्य प्रदेश पुलिस की वर्दी और फर्जी आई कार्ड का प्रयोग करते थे।