यूपी के आगरा में मानवता को शर्मसार करने वाला मामला सामने आया है। इंजीनियरिंग की स्टूडेंट सड़क पर बदहवास हालत में बिना कपड़ों के पड़ी थी। मगर उसकी मदद करने के बजाए लोग उसका वीडियो शूट कर रहे थे। लडक़ी की हालत देख मनोचिकित्सक ने मानवता दिखाई। उसे अपने क्लीनिक ले गई। जहां उसे फस्र्ट ट्रीटमेंट दिया। उसे कपड़े पहनाए। पुलिस को सूचना दी गई। मगर उसकी मदद करने के बजाए पुलिस सीमा विवाद में उलझाती रही। सामाजिक कार्यकर्ता नरेश पारस ने एसीपी सुकन्या शर्मा को सूचना दी। एसीपी की मदद से युवती को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। एसीपी ने बताया कि युवती लखनऊ की रहने वाली है। वह आगरा में पढ़ाई कर रही है।
उधर, पुलिस कमिश्नरी आगरा के वरिष्ठ अधिकारी महिला अपराध पर कहते हुए दिखाई दे रहे हैं कि यहां पर महिलाओं की सुरक्षा को लेकर पुलिस बहुत सक्रिय है। रविवार को थाना न्यू आगरा क्षेत्र के खंदारी क्षेत्र में बदहवास हालत में घूमती मिली दुष्कर्म पीड़िता का आते जाते हुए लोग मोबाइल से वीडियो बना रहे थे। जानकारी पर पहुंची पुलिस ने बदहवास हालत में मिली पीड़िता को पहले उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया। पूछताछ में जानकारी मिली कि युवती लखनऊ की रहने वाली है, जो कि आगरा विश्वविद्यालय के खंदारी कैंपस स्थित शिक्षण संस्थान में अध्ययनरत है। यह वही युवती है जिसने बीते दिनों थाना सिकंदरा में एक युवक के खिलाफ 11 अगस्त को दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज कराया था।
गंदी नीयत से युवती को करता था परेशान
बताते चलें कि बदहवास हालत में मिली युवती ने जिस युवक पर दुष्कर्म का आरोप लगाया था। वह युवक पीड़िता का सीनियर है, और युवती से दुराचार करने से पहले भी कई बार गंदी नीयत से युवती को परेशान करता रहा है। आरोप लगाया गया था कि आरोपी युवक ने कार में जबरदस्ती खींचकर और कार में बैठाने के बाद युवती के साथ जबरन दुष्कर्म किया। कार में चारों तरफ से पर्दे लगे हुए थे। पुलिस अब इस मामले में साक्ष्य संकलित कर रही है। आगरा पुलिस का कहना है कि युवती की मानसिक रूप से स्थिति ठीक नहीं है, फिलहाल उससे बातचीत के जरिए जानकारी जुटाई जा रही है। पीड़ित युवती के परिजनों को भी जानकारी देकर बुलाया जा रहा है। फिलहाल, आगरा पुलिस ने युवती को मानसिक स्वास्थ्य संस्थान में उपचार हेतु भर्ती कराया गया है। इस मामले में अभी पुलिस कुछ भी कहने से बचती दिखाई दे रही है।
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