दिल्ली में रविवार तड़के सड़क हादसे में युवती की मौत से नाराज़ रिश्तेदार और पड़ोसियों ने आज पुलिस के ख़िलाफ़ प्रदर्शन किया. उन्होंने पुलिस जांच को लेकर सवाल उठाए और नारेबाज़ी की.
पीड़िता के रिश्तेदारों के साथ कई लोगों ने दिल्ली के सुल्तानपुरी थाने का घेराव किया.
पुलिस के मुताबिक रविवार तड़के कार टक्कर के बाद युवती का जिस्म कार में फंस गया और वो कुछ किलोमीटर घिसटती रही. ये मामला दिल्ली के कंझावला इलाके का है. पुलिस ने इस मामले में पांच लोगों को गिरफ़्तार किया है.
बाहरी दिल्ली के डीसीपी हरेंद्र सिंह के मुताबिक “ये सिर्फ़ एक्सीडेंट का मामला है. पीड़ित के साथ यौन दुर्व्यवहार नहीं हुआ.”
पीड़िता की मां के आरोप
लेकिन पीड़िता की मां, बाकी रिश्तेदार और पड़ोसी पुलिस की थ्योरी पर सवाल उठा रहे हैं. उनका आरोप है कि पीड़िता के साथ ग़लत व्यवहार किया गया और फिर इसे हादसे का रूप दे दिया गया.
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक पीड़ित की मां ने आरोप लगाया, “मेरी बेटी के साथ पांच लोगों ने ग़लत काम किया है और उसे मारकर गाड़ी के नीचे घसीटा है.”
उन्होंने कहा, “उसके तन पर एक कपड़ा नहीं था. एक्सीडेंट होता तो क्या ऐसा होता?” पीड़िता की मां ने बताया कि उनकी अपनी बेटी से आखिरी बार बात शनिवार रात को हुई थी.
उन्होंने बताया, “मेरी उससे आठ से नौ बजे बात हुई थी. मैंने पूछा कि बेटा अभी तो घर नहीं आई तो उसने कहा कि अभी मेरा काम ख़त्म नहीं हुआ. सुबह चार बजे तक काम ख़त्म होगा.”
पीड़िता की मां ने बताया, “सुबह सात बजे पुलिस वालों ने कॉल किया था कि एक्सीडेंट हुआ था.”
‘अकेला सहारा थी’
पीड़िता की मां ने कहा कि उनकी बेटी परिवार का अकेला सहारा थी.
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक पीड़िता की मां ने बताया, “वो शादियों में इवेंट प्लानर के तौर पर काम करती थी. मेरी बेटी हमारे घर की अकेली कमाने वाली थी.”
पीड़िता की मां के साथ मौजूद दूसरी महिलाओं ने बताया कि पिता की मौत के बाद वो ही इस परिवार का इकलौता सहारा थी.
Compiled: up18 News
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