खाड़ी देशों में बढ़ रहा है अंग्रेजी भाषा का इस्तेमाल, सौ साल में खत्म हो जाएगी अरबी भाषा

Cover Story

दुनिया की सबसे महत्वपूर्ण भाषाओं में शामिल अरबी को 40 करोड़ लोग बोलते हैं 

अब अंग्रेजी खाड़ी देशों की प्रमुख भाषा बन रही है। कागज पर अरेबिक दुनिया की सबसे महत्वपूर्ण भाषाओं में शामिल है। 40 करोड़ से अधिक लोग इसे बोलते हैं। अरब देशों के लोग कई अन्य क्षेत्रीय बोलियां बोलते हैं। अरबी की कमजोर शिक्षा से उसकी शुद्धता नष्ट हो रही है। दूसरी ओर अंग्रेजी का विस्तार हो रहा है।

प्रायमरी स्कूल के कई बच्चे अंग्रेजी और अरबी मिश्रित भाषा बोलते हैं। अरबी के जानकार एक पूर्व ब्रिटिश राजनयिक कहते हैं, सौ साल में अरबी खत्म हो जाएगी। भाषा की गिरावट ताजा इतिहास की झलक दिखाती है। किसी जमाने में अरब राष्ट्रवाद और संस्कृति के गढ़ रहे बगदाद और दमिश्क को हिंसा ने हिला डाला है

अमीराती विद्वान एबतेसाम अल केतबी कहते हैं, भाषा बताती है कि आप कितने ताकतवर हैं। बहरीन के एक बुद्धिजीवी कहते हैं, चीनी, जापानी और कोरियाई लोगों ने अपनी भाषाओं को सहेजकर रखा है। लेकिन हमने ऐसा नहीं किया है। हमारे देश पर शासन करने वाले भी अब अच्छी अरबी भाषा नहीं बोलते हैं।

कई लोग लैटिन लिपि में बोलियों के जरिए सोशल मीडिया पर खबर जानना पसंद करते हैं

बिक्री और प्रसार बढ़ाने के लिए प्रकाशक बोलियों में ज्यादा से ज्यादा किताबें छाप रहे हैं। 2019 में मिस्र में नादिया कमेल को एक स्थानीय बोली में उपन्यास लिखने पर साहित्य पुरस्कार मिल चुका है। टीवी न्यूज चैनल अब भी अरबी में प्रसारण करते हैं। लेकिन कई लोग लैटिन लिपि में बोलियों के जरिए सोशल मीडिया पर खबर जानना पसंद करते हैं। डिज्नी अब अपनी फिल्में मिस्र की बोलियों में डब करती है। इस पृष्ठभूमि में अरबी के समर्थक मोर्चे पर डटे रहने की कोशिश में जुटे हैं

ऑनलाइन प्लेटफॉर्म लिविंग अरेबिक प्रोजेक्ट के होसम अबूजहर कहते हैैं, मीडिया, धार्मिक उपदेशों और भाषणों में उपयोग होने के कारण अरबी भाषा लैटिन से अधिक प्रचलित और सजीव है। वे उम्मीद करते हैं, बोलने वाले मूल लोगों की गैरमौजूदगी के बावजूद चर्चों की वजह से लैटिन भाषा का अस्तित्व सदियों बना रहा।

चौथी क्लास के बच्चे एक वाक्य नहीं लिख पाते

2017 में दुबई में एक एजेंसी ने अरब युवाओं के सर्वे में पाया कि खाड़ी में अरब लोग अरबी से अधिक अंग्रेजी का इस्तेमाल कर रहे हैं। खाड़ी में सऊदी अरब स्कूली बच्चों को शुरुआत से अंग्रेजी पढ़ाने वाले देशों की कतार में शामिल हो गया है। पिछले साल विश्व बैंक की स्टडी में बताया गया कि चौथी क्लास में कई अरब बच्चे अरबी भाषा में एक वाक्य ठीक से नहीं लिख पाते हैं।

-एजेंसी