स्टडी: जिंदगीभर दवाइयों पर निर्भर रख सकता है कुत्ते-बिल्‍ली पालने का शौक

Health

कुत्ते और बिल्ली को पालने का शौक आपके स्वास्थ के लिए खतरा साबित हो सकता है। एक स्टडी में सामने आया है कि पेट रखने वाले लोगों के आंत से जुड़ी बीमारी इरिटेबल बाउल सिंड्रोम का शिकार होने के चांस ज्यादा रहते हैं। इस बीमारी में व्यक्ति को पेट दर्द, बेचैनी, मोशन में परेशानी व दस्त जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
अमेरिका की ईस्ट टेनेसी स्टेट यूनिवर्सिटी के रिसर्चर्स द्वारा 2,883 मरीजों के मेडिकल रेकॉर्ड की स्टडी करने के बाद यह बात सामने आई है।

क्या है कारण

स्टडी के मुताबिक पेट को होने वाली डैंड्रफ व उसके मल के कारण यह खतरा बढ़ता है। उसकी स्किन व मल में ऐसे बैक्टीरिया होते हैं जो न सिर्फ छूने के कारण बल्कि सांस के जरिए व्यक्ति के शरीर में प्रवेश कर जाते हैं। ये बैक्टीरिया पाचनक्रिया को प्रभावित करता है और इरिटेबल बाउल सिंड्रोम का खतरा बढ़ जाता है।

हालांकि स्टडी में फिलहाल यह सामने नहीं आ सका है कि किस प्रकार का पेट इस लिस्ट में ओनर के लिए सबसे ज्यादा खतरनाक होता है। वहीं रिसर्चर्स न यह भी साफ किया कि इस स्टडी में सामने आई बातों को निर्णायक नहीं कहा जा सकता, बल्कि इस विषय पर और ज्यादा चर्चा व स्टडी की जरूरत है।

बता दें कि इरिटेबल बाउल सिंड्रोम होने पर व्यक्ति को न सिर्फ शारीरिक परेशानियों से बल्कि डिप्रेशन जैसी समस्या से भी जूझना पड़ सकता है। इस सिंड्रोम का इलाज काफी लंबे समय तक चलता है, हालांकि अब तक इस बीमारी को जड़ से खत्म करने का इलाज नहीं ढूंढा जा सका है, ऐसे में पीड़ित मरीज को जिंदगीभर दवाइयों पर निर्भर रहना पड़ सकता है।

-एजेंसियां