नेपाल में पहली बार एक समलैंगिक जोड़े की शादी को रजिस्टर्ड किया गया है. इस जोड़े अपनी शादी का रजिस्ट्रेशन कराने के लिए लंबी क़ानूनी लड़ाई लड़नी पड़ी.
नेपाल के लुमजुंग ज़िले में संबंधित सरकारी विभाग ने माया गुरुंग और सुरेंद्र पांडेय की शादी औपचारिक रूप से रजिस्टर्ड कर ली. माया गुरुंग की उम्र 36 साल और सुरेंद्र पांडेय 26 साल के हैं.
पांच महीने पहले सुप्रीम कोर्ट ने समलैंगिक जोड़ों की शादी के रजिस्ट्रेशन की इजाजत अपने एक अंतरिम आदेश में दी थी. एशिया में इससे पहले पहले ताइवान ही एकमात्र ऐसी जगह है जहां समलैंगिक जोड़ों की शादी को क़ानूनी मान्यता है.
माया गुरुंग और सुरेंद्र पांडेय लगभग एक दशक से एक साथ रह रहे हैं. साल 2017 में इस जोड़े ने मंदिर में शादी की थी और उसके बाद से अपने विवाह को क़ानूनी मान्यता दिलाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं.
माया गुरुंग एक ट्रांसजेंडर महिला हैं जिन्होंने आधिकारिक दस्तावेज़ों के मुताबिक़ अपना लिंग परिवर्तन नहीं कराया है. सुरेंद्र पांडेय जन्म से पुरुष हैं.
13 जुलाई को नेपाल की राजधानी काठमांडू की एक ज़िला अदालत ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद इस जोड़े की शादी को रजिस्टर करने से इंकार कर दिया था.
सुप्रीम कोर्ट ने नेपाल सरकार को ये आदेश दिया था कि जब तक कि क़ानून में बदलाव न हो जाए, ऐसी शादियों का रजिस्ट्रेशन किया जाए.
ज़िला अदालत ने माया गुरुंग और सुरेंद्र पांडेय की शादी को रजिस्टर करने से इंकार करते हुए कहा कि निचली अदालतें सुप्रीम कोर्ट के आदेश को मानने के लिए बाध्य नहीं हैं क्योंकि उसमें केवल सरकार के लिए निर्देश दिया गया था.
सरकारी विभाग के निर्देशों के अनुसार हमने इस दंपति को विवाह के रजिस्ट्रेशन का सर्टिफिकेट जारी कर दिया है.
नेपाल के जानेमाने एलजीबीटी अधिकार कार्यकर्ता सुनील बाबू पंत ने इसे ऐतिहासिक फैसला करार दिया है.
माया गुरुंग और सुरेंद्र पांडेय का कहना है कि शादी रजिस्टर्ड होने से वे ज्वॉयंट बैंक एकाउंट खोल सकते हैं. एक बच्चा भी गोद ले सकते हैं.
Compiled: up18 News
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