जारी गंभीर आर्थिक संकट के बीच पाक के बदले सुर, बोला- युद्ध कोई विकल्प नहीं, हम पड़ोसी देश से बात करने के लिए तैयार

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पाकिस्तानी समाचार वेबसाइट के मुताबिक, इस्लामाबाद में पाकिस्तान खनिज शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए पीएम ने यह टिप्पणी की. उन्होंने कहा, ‘हमें किसी से कोई शिकायत नहीं है, हमें अपना ख्याल रखना है और अपने देश का निर्माण करना है. यहां तक कि अपने पड़ोसी के साथ भी, हम बात करने के लिए तैयार हैं बशर्ते वे मामलों पर चर्चा करने में गंभीर हों.’

भारत और पाकिस्तान के बीच रिश्तें लंबे समय से बहुत ही खराब रहे हैं. वर्ष 1947 में दोनों देशों की आजादी के बाद से लेकर अब तक तीन युद्ध हो चुके हैं. वहीं हाल के वर्षों में रिश्तों की कड़वाहट इस कदर बढ़ चुकी है कि दोनों देशों के बीच हर तरह की वार्ता बंद है.

‘जंग अब कोई विकल्प नहीं’

हालांकि पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने अब कोई जंग न लड़ने की तरफ इशारा करते हुए कहा, ‘जंग अब कोई विकल्प नहीं है. पाकिस्तान एक परमाणु शक्ति है- (ये क्षमताएं) एक आक्रामक के रूप में नहीं बल्कि रक्षा उद्देश्यों के लिए हैं. हमने पिछले 75 वर्षों में तीन जंगें लड़ी हैं, जिससे गरीबी, बेरोजगारी और संसाधनों की कमी ही पैदा हुई है.’

इसके साथ ही उन्होंने कहा, ‘खुदा न करे, अगर कोई परमाणु युद्ध हो जाए तो यह बताने के लिए कौन जिंदा बचेगा कि क्या हुआ? यह विकल्प नहीं है.’

पीएम शहबाज़ ने कहा, ‘लेकिन यह भी उतना ही अहम है कि हमारा पड़ोसी (भारत) यह समझे कि हम तब तक सामान्य नहीं हो सकते जब तक कि असामान्यताओं को दूर नहीं किया जाता है और गंभीर मुद्दों को शांतिपूर्ण और सार्थक चर्चा के माध्यम से संबोधित नहीं किया जाता है.’

इस दौरान पाकिस्तान की खस्ता आर्थिक हालत को लेकर भी बात करते हुए पीएम शरीफ ने कहा कि पाकिस्तान 6 ट्रिलियन डॉलर के खनिज भंडार का घर होने के बावजूद लाभ उठाने में विफल रहा है. उन्होंने कहा, ‘हम इसके लिए अपने अलावा किसी और को दोषी नहीं ठहरा सकते.’

शरीफ ने कहा कि पाकिस्तान की यात्रा की कहानी दिल दहला देने वाली है, लेकिन अगर हम शिखर सम्मेलन में दिए गए भाषणों और प्रस्तुतियों को पूरी तरह अमल में लाएं तो ‘हम अपने पिछले गौरव को प्राप्त कर सकते हैं’.  उन्होंने कहा, ‘पाकिस्तान को गुलामी और भारतीय आधिपत्य से छुटकारा दिलाने के लिए एक गंभीर सर्जिकल ऑपरेशन की जरूरत है.’

Compiled: up18 News