2011 विश्व कप विजेता टीम के सदस्य रहे गौतम गंभीर ने एमएस धोनी की कभी हार न मानने की क्षमता की प्रशंसा करते हुए कहा कि विपक्षी टीमें उनकी फिनिशिंग स्किल से सावधान रहती थीं। गंभीर ने कहा- आईपीएल में इसका हर पल आनंद लिया क्योंकि मुझे पता था कि एमएस की रणनीतिक मानसिकता थी। वह रणनीति में बहुत अच्छे हैं। पता था कि स्पिनरों को कैसे नियंत्रित करना है, उनके खिलाफ फील्ड कैसे सेट करनी है और कभी हार भी नहीं मानेंगे। वह नंबर 6 या 7 पर बल्लेबाजी करते थे, और हम जानते थे कि जब तक वह वहां थे, वह मैच फिनिश कर सकते थे।
भारत के पूर्व सलामी बल्लेबाज और नाइट राइडर्स के मेंटर गौतम गंभीर ने एमएस धोनी के साथ अपनी प्रतिद्वंद्विता को याद करते हुए कहा कि जब धोनी सुपर किंग्स का नेतृत्व कर रहे थे, तो उन्हें अपने पूर्व कप्तान को हराने के लिए अपनी सबसे बेहतरीन रणनीति बनानी पड़ती थी।
चेन्नई में सीएसके और केकेआर के बीच होने वाले मैच से पहले गंभीर ने कहा कि उन्होंने नाइट राइडर्स के कप्तान के रूप में अपने दिनों में धोनी और सुपर किंग्स के साथ अपनी प्रतिद्वंद्विता का आनंद लिया।
धोनी को फाइनल में हरा चुके गंभीर
गौतम गंभीर ने आईपीएल में केकेआर की किस्मत को पुनर्जीवित किया और शाहरुख खान के फ्रेंचाइजी को दो आईपीएल खिताब दिलाए। केकेआर की पहली खिताबी जीत चेन्नई में हुई जब उन्होंने फाइनल में सीएसके को हराया। गंभीर उनकी खिताबी जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे थे क्योंकि उनकी रणनीतिक समझ सामने आई थी।2012 में केकेआर ने सीएसके को आईपीएल खिताब की हैट्रिक जीतने से रोक दिया था।
गंभीर ने धोनी पर क्या क्या कहा
गौतम गंभीर ने कहा, ‘मैं जीतना चाहता था। मैं अपने दिमाग में बहुत स्पष्ट हूं। दोस्त, आपसी सम्मान, सब कुछ रहेगा। लेकिन जब आप बीच में होते हैं, मैं केकेआर की कप्तानी कर रहा हूं और वह सीएसके की कप्तानी कर रहे हैं। अगर आप उनसे पूछेंगे, तो वह शायद आपको वही जवाब देगा। वहां सिर्फ जीत हासिल करना लक्ष्य है। जाहिर है, एमएस भारत के अब तक का सबसे सफल कप्तान हैं। मुझे नहीं लगता कि कोई भी उस लेवल तक पहुंच सकता है और 3 आईसीसी ट्रॉफी जीत सकता है।’
-एजेंसी
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