वृंदावन के ठाकुर बांकेबिहारी मंदिर में सुरक्षा में तैनात दरोगा की टोपी लेकर बंदर भाग गया। यह देख मौके पर लोगों की भीड़ जुट गई। दरोगा और वहां मौजूद अन्य पुलिसकर्मी बंदर से टोपी छुड़ाने के प्रयास में जुट गए। काफी प्रयास के बाद बंदर ने टोपी को नीचे फेंक दिया, जिसके बाद दरोगा ने अपनी टोपी संभाली और ड्यूटी स्थल पर वापस चले गए।
ड्यूटी पर जाने के दौरान बंदर ने की ये करामात
वृंदावन में बंदरों का आतंक तेजी के बढ़ रहा है। कुछ दिन पहले ही यहां के बांकेबिहारी मंदिर में निरीक्षण करने के लिए पहुंचे जिलाधिकारी नवनीत चहल का बंदर चश्मा लेकर भाग गए थे, तो वहीं आज बंदर ने दरोगा की टोपी को ही निशाना बना लिया। दरोगा जब ड्यूटी पर जा रहे थे, तभी बंदर ने झपट्टा मारकर दरोगा के सिर से टोपी उड़ा ली। दरोगा को तो कुछ समझ ही नहीं आया कि आखिर हुआ क्या।
लोगों ने शोर मचाया तो दरोगा भी हड़बड़ा गए। सिर से टोपी गायब होने के बाद दरोगा और स्थानीय लोग टोपी को किसी भी तरह बंदर से छुड़ाने के प्रयास में जुट गए। ऊंचे स्थान पर बैठकर बंदर मुंह चिढ़ा रहा था।
उसे खाने-पीने से लेकर अन्य चीजों का लालच दिया गया, लेकिन बंदर दरोगा की टोपी छोड़ने को तैयार नहीं हुआ। काफी देर की मशक्कत के बाद आखिर में बंदर के हाथ से किसी तरह टोपी छूट गई।
बता दें इससे पहले बुधवार को मथुरा के जिलाधिकारी नवनीत चहल वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर पर निरीक्षण करने के लिए पहुंचे थे। जैसी ही डीएम मंदिर के पास पहुंचे तो अचानक से एक बंदर उनके चश्मे को लेकर भाग गया। जिलाधिकारी का चश्मा लेकर भागते हुए बंदर के पीछे वहां तैनात पुलिस कर्मी दौड़ पड़े, लेकिन बंदर की फुर्ती के आगे सभी पीछे रह गए।
पुलिसकर्मियों ने काफी प्रयास किया, लेकिन बंदर ने चश्मा नहीं दिया। फिर स्थानीय लोगों के साथ मंदिर के गोस्वामी और पुलिस कर्मियों ने बड़ी मुश्किल से बंदर के चंगुल से डीएम के चश्मे को वापस कराया।
-एजेंसी
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