अपनी पसंद का खाना देखते ही हमारे टेस्ट बड एक्टिव हो जाते हैं और हमारा मुंह पानी से भर जाता है लेकिन क्या कभी हमने सोचा है कि टेस्टी खाना देखते ही ऐसा क्यों होता है और क्यों हम जाने-अनजाने ओवर ईटिंग करने लगते हैं…
ओवर ईटिंग की वजह
स्टडी में सामने आया कि हाई कैलोरीज फूड खाकर जो हमें प्लेजर मिलता है वही प्लेजर हमारे नेचुरल फीडिंग शेड्यूल को डिस्टर्ब करने का कारण बन सकता है। इस कारण हम अपनी जरूरत से अधिक खाना कंज्यूम करने लगते हैं।
खाने से दिमाग को मिलता प्लेजर
हमारे ब्रेन का प्लेजर सेंटर जहां डोपामाइन हॉर्मोन बनता है और हमारी बायोलॉजिकल क्लॉक, जो हमारी बॉडी की सायकॉलजिकल रिद्म को मैनेज करती है, इन दोनों के बीच और गहरा कनेक्शन हो सकता है। यह बात हाल ही जर्नल करंट बायोलॉजी में पब्लिश हुई स्टडी में सामने आई है।
इनका रहता है वेट मेंटेन
यह शोध यूनिवर्सिटी ऑफ वर्जिनिया द्वारा किया गया। इस शोध के लीड ऑर्थर अली गुलेर के अनुसार लैबोरेट्री टेस्ट में सामने आया कि नॉर्मल इटिंग, एक्सर्साइज और लो फैट डायट लेने वाले लोगों का वेट मेंटेन रहता है और उन्हें बार-बार स्नैक्स आदि चीजों की जरूरत नहीं होती।
इनका बढ़ता है वेट
लेकिन जो लोग हाई कैलरीज डायट, हाई फैट और शुगर का यूज करते हैं, उन्हें दिन में बार-बार कुछ स्नेक्स लेने की इच्छा होती है और वे इस कारण ओवर ईटिंग करते हैं और इनका वेट लगातार बढ़ने लगता है।
ऐसा खाना भी है वजह
शोधकर्ताओं के अनुसार पिछले 50 साल में ना सिर्फ अमेरिका बल्कि दुनियाभर के देशों में लोगों के खान-पान में ड्रामेटिकली बड़ा बदलाव आया है। अब लोग प्रोसेस्ड और पैक्ड फूड का दिन-रात उपयोग करते हैं। ऐसा खाना लंबे समय तक खाने पर सेहत को इसकी कीमत चुकानी पड़ती है।
पैक्ड खाने से होने वाली दिक्कत
रिसर्चर्स के अनुसार, प्रोसेस्ड और पैक्ड फूड शुगर, कार्ब्स और कैलरीज से भरे हुए होते हैं। अगर इन्हें रोज खाया जाए तो ये मोटापे के साथ ही शरीर को कई बीमारियां उपहार में देते हैं।
मोटापे और नींद का कनेक्शन
लीड ऑर्थर के अनुसार शोध में यह भी सामने आया कि ब्रेन में निकलने वाला डोपामाइन कैमिकल जो हमारे शरीर की बायॉलजिकल क्लॉक को मेंटेन रखता है, वह अगर डिस्टर्ब हो जाता है तो लोगों को खाली वक्त और खाने के बाद भी हाई एनर्जी फूड खाने की जरूरत महसूस होती है।
इसलिए होती है दिक्कत
जो लोग पूरी नींद नहीं लेते और जिनके सोने जागने का समय निर्धारित नहीं रहता है अक्सर उनमें ओवर इटिंग की आदत देखने को मिलती है। खास बात यह है कि अगर डोपामाइन सिग्नल से हाई कैलरीज फूड का प्लेजर मिलना बंद हो जाए तब भी लोग हाई कैलरी फूड खाकर स्लिम रह सकते हैं लेकिन डोपामाइन का ना बनना शरीर के लिए अच्छा नहीं है इसलिए बेहतर है कि अपनी डायट को ही कंट्रोल किया जाए।
-एजेंसियां
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