पश्चिमी यूपी को अलग राज्य बनाकर, मेरठ को इसकी राजधानी घोषित किया जाए : संजीव बलियान

पश्चिमी यूपी को अलग राज्य बनाकर मेरठ को इसकी राजधानी घोषित किया जाए: केंद्रीय मंत्री संजीव बलियान

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नई दिल्ली। देश की राजनीति में प्रमुख स्थान रखने वाला सूबा यूपी एक बार फिर विभाजन की कगार पर खड़ा हो गया है। प्रदेश के क्षेत्रफल को लेकर कई बार इसको हिस्सों में बांटने की मांग उठती रही है। अब मांग सत्ताधारी दल के केन्द्रीय राज्य मंत्री संजीव बालियान के तरफ से उठी है। उन्होंने कहा कि पश्चिम उत्तर प्रदेश को अलग राज्य घोषित किया जाए और मेरठ को इसकी राजधानी घोषित करना चाहिए।

अंतर्राष्ट्रीय जाट संसद को संबोधित करते हुए बालियान ने यह बयान दिया है। उनके इस बयान के बाद लोगों ने इस पर विरोध जताया है। अपनी मांग को जायज बताते हुए बालियान ने कहा कि यहां की आबादी आठ करोड़ है और हाईकोर्ट यहां से 750 किलोमीटर दूर है। ऐसे में अलग राज्य की मांग पूरी तरह से जायज है। जाट संसद में सभी पार्टियों के जाट समुदाय के जन प्रतिनिधि शामिल हुए।

जाटों को राष्ट्रवादी कौम बताते हुए संजीव बालियान ने कहा कि राजनीति में सभी को साथ लेकर चलने की जरूरत है। जाटों के बिना गांव में कोई प्रधान भी नहीं बन सकता है। वहीं, जाट आरक्षण पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि यह कहना गलत होगा कि अदालत में सरकार ने आरक्षण के लिए पक्ष मजबूती से नहीं रखा। आगे जो भी आरक्षण की बात करेगा मैं उसके पीछे रहूंगा।

रोजगार के लिए आरक्षण जरूरी : यशपाल मलिक

जाट आरक्षण संघर्ष समिति के राष्ट्रीय संयोजक यशपाल मलिक ने कहा कि समाज के उत्थान और युवाओं को रोजगार के लिए आरक्षण जरूरी है। समाज आरक्षण के लिए संघर्ष करते रहे। आरक्षण लेना है तो राजनीति से ऊपर उठना पड़ेगा। सत्ता में मौजूद समाज के लोगों को भी सदन में इसकी मांग उठानी होगी। उन्होंने कहा, संगठनों पर कब्जा करना बंद कर हमें एकजुट होना पड़ेगा।

जाट समाज का सामाजिक और राजनीतिक नेतृत्व कमजोर हो चुका है  : गौरव चौधरी

जिला पंचायत अध्यक्ष गौरव चौधरी ने कहा कि जाट समाज कष्टों और परेशानी से जूझ रहा है। जाट समाज का सामाजिक और राजनीतिक नेतृत्व कमजोर हो चुका है। जाट समाज के युवा और बुजुर्गों को सोचने समझने की जरूरत है। समय रहते परिस्थिति को नहीं समझे तो आने वाले समय में हालात बद से बदतर हो सकते हैं।

समाज की स्थिति चिंताजनक : हरेंद्र मलिक

पूर्व सांसद व सपा के राष्ट्रीय महासचिव हरेंद्र मलिक ने समाज की स्थिति पर चिंता जताई। कहा कि विकट समय में हम जी रहे हैं। हमारे हालात बहुत खराब हैं। हमें अपनी पीढ़ी के लिए चिंतन करना होगा। नौजवान नशे के दलदल में फंसा है। उसे सही राह दिखानी होगी। शिक्षा के क्षेत्र में हमें और कार्य करना होगा। मंचासीन लोग भी शिक्षा के लिए काम करें, ताकि समाज के युवाओं को रोजगार मिल सके। हमारा गौरवशाली इतिहास रहा है। हम अपनी पीढ़ी के लिए क्या कर रहे है, यह हमें सोचना होगा।

Compiled: up18 News