उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने केंद्रीय गृह मंत्रालय के पॉपुलर फ़्रंट ऑफ़ इंडिया यानी PFI पर पांच साल का बैन लगाने के फ़ैसले का स्वागत किया है. उन्होंने ट्वीट करके अपनी प्रतिक्रिया जाहिर की है.
सीएम योगी ने लिखा, ”राष्ट्रविरोधी गतिविधियों में संलिप्त पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) और उसके अनुषांगिक संगठनों पर लगाया गया प्रतिबंध सराहनीय एवं स्वागत योग्य है. यह ‘नया भारत’ है, यहां आतंकी, आपराधिक और राष्ट्र की एकता व अखंडता तथा सुरक्षा के लिए ख़तरा बने संगठन एवं व्यक्ति स्वीकार्य नहीं.”
केंद्र सरकार ने अपने आदेश में पीएफ़आई पर ‘गुप्त एजेंडा चलाकर एक वर्ग विशेष को कट्टर बनाने’ और ‘आतंकी संगठनों से जुड़े होने’ की बात कही है.
आदेश में कहा गया है कि पीएफ़आई का संबंध बांग्लादेश और भारत के दो ऐसे संगठनों से रहा है जिन पर प्रतिबंध लगा हुआ है.
पिछले दिनों देश भर में पीएफ़आई के दफ़्तरों, नेताओं और सदस्यों के घरों पर बड़े पैमाने पर छापेमारी की गई थी. राष्ट्रीय जाँच एजेंसी (एनआईए), प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) और राज्यों की पुलिस ने एक साथ मिलकर ये छापेमारी की थी.
मंगलवार को देश के सात राज्यों में छापेमारी के बाद पीएफ़आई से कथित तौर पर जुड़े होने के आरोप में 150 से ज़्यादा लोगों को गिरफ़्तार किया गया था. 27 सितंबर को दिल्ली, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक, गुजरात, महाराष्ट्र, असम और मध्य प्रदेश में छापे मारे गए.
क्या बोलीं साध्वी प्राची
साध्वी प्राची ने कहा है कि पीएफ़आई पर मोदी सरकार की कार्रवाई सही है और इस संगठन के ख़िलाफ़ कड़ी से कार्रवाई करनी चाहिए.
अपने बयानों को लेकर अक्सर चर्चा में रहने वाली साध्वी प्राची ने कहा, “पीएफ़आई एक आतंकवादी संगठन है और उस पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई सरकार कर रही है और करनी चाहिए.” चाहे मदरसों की जाँच हो या फिर वक्फ़ बोर्ड की जाँच हो, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जो कर रहे हैं, वो राज्य और राष्ट्रहित में हैं.
-एजेंसी
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