पाकिस्तान में चल रहे राजनीतिक संकट के बीच शहबाज शरीफ सरकार ने चीन से अरबों डॉलर की मदद की गुहार लगाई है। शहबाज सरकार ने कहा है कि अगर सीपीईसी परियोजना से जुड़े 5 प्रॉजेक्ट को तेजी से पूरा नहीं किया गया तो एक साल के अंदर पाकिस्तान में रेल व्यवस्था ढह जाएगी। साथ ही 3100 मेगावाट की बिजली परियोजना को बड़ा नुकसान होगा और देश में पॉवर संकट गहरा जाएगा। पाकिस्तान ने जिन 5 चीनी परियोजनाओं को लेकर चेतावनी दी है, वे 18.5 अरब डॉलर की हैं।
पाकिस्तान में चल रही अरबों डॉलर की सीपीईसी परियोजना आगे नहीं बढ़ पा रही है जिससे दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ा हुआ है। चीन पाकिस्तान में इमरान खान के राजनीतिक संकट को देखते हुए और ज्यादा निवेश से परहेज कर रहा है। साथ ही चीन ने बलूचों के हमले से निपटने के लिए अपनी ‘सेना’ को तैनात करने की भी शर्त रखी है। वहीं इस पूरे विवाद को अब सुलझाने के लिए शहबाज शरीफ चीन की यात्रा पर जाने वाले हैं।
पाकिस्तान का मेन लाइन रेल नेटवर्क होगा ध्वस्त
पाकिस्तान की ओर से योजना और विकास मंत्री अहसान इकबाल ने एक बैठक के दौरान यह गुहार चीन की सरकार से लगाई। चीन-पाकिस्तान आर्थिक कॉरिडोर (CPEC) की बैठक में कोई नया ऐलान नहीं किया गया। पाकिस्तान इस बात से नाराज है कि 8 साल पहले तय हुई योजनाओं को पूरा करने में लगातार देरी हो रही है। पाकिस्तान ने चीन से गुहार लगाई है कि वह 10 अरब डॉलर की लागत वाली मेनलाइन-1 समेत रेल और ऊर्जा से जुड़ी 5 परियोजनाओं पर प्राथमिकता के साथ विचार करे।
एक पाकिस्तानी अधिकारी ने कहा कि ये परियोजनाएं दोनों ही तरफ से संकटों का सामना कर रही हैं।
पाकिस्तानी मंत्री ने माना कि उनका देश चीन के विशेष आर्थिक क्षेत्र के अनुभवों का लाभ उठाने में फेल रहा है। शहबाज शरीफ दो दिन की यात्रा पर 1 नवंबर को चीन जाने वाले हैं। इकबाल ने कहा कि अगर रेल परियोजना को तत्काल शुरू नहीं किया गया तो एक साल के अंदर पाकिस्तान का मेन लाइन नेटवर्क ध्वस्त हो जाएगा।
Compiled: up18 News