आगरा: मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह में बालिका वधु होने की आशंका, डीएम तथा सीडीओ से शिकायत

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योजना के आवेदन में नहीं लिए जा रहे उम्र संबंधी दस्तावेज
केवल आधार कार्ड से ही कर रहे उम्र का सत्यापन

उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा निर्धन परिवारों की बेटियों के हाथ पीले करने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा सामूहिक विवाह योजना शुरू की गई है। जिसके तहत अबतक लाखों जोड़ों का विवाह हो चुका है। इस योजना के तहत लाभार्थी को सरकार द्वारा 51 हजार रुपये का अनुदान मिलता है। जिसमें 35 हजार सीधे लाभार्थी के खाते आते हैं। दस हजार रुपये का शादी का सामान और छह हजार शादी में खर्च के लिए मिलते हैं। आवेदन में उम्र संबंधी कोई भी दस्तावेज ना लिए जाने पर विवाह समारोह में नाबालिगों का विवाह कराए जाने की आशंका पर चाइल्ड राइट्स एक्टिविस्ट एवं महफूज संस्था के समन्वयक नरेश पारस ने डीएम सीडीओ बाल कल्याण समिति तथा जिला प्रोबेशन अधिकारी को पत्र लिखकर आवेदन में उम्र संबंधी दस्तावेज लेकर सत्यापन कराने की मांग की है।

आधार कार्ड से फर्जीवाड़ा

नरेश पारस ने कहा कि मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में आवेदन में मूल निवास पत्र, आधार कार्ड, आय प्रमाण पत्र, पासपोर्ट साइज फोटो, बैंक पासबुक तथा जाति प्रमाण पत्र लिए जाते हैं। सत्यापान के बाद विवाह कर दिए जाते हैं। इनमें उम्र संबंधी कोई भी दस्तावेज नहीं लिया जाता है। जिससे उम्र का सही सत्यापन नहीं हो पाता है। बिचौलिए इसका फायदा उठाकर आधार कार्ड में हेरफेर कर नाबालिगों का विवाह करा देते हैं।

उम्र सत्यापन में ये दस्तावेज हैं मान्य

उम्र के लिए जन्म प्रमाण पत्र, शैक्षिक प्रमाण पत्र तथा मेडिकल परीक्षण के अनुसार ही उम्र निधार्रित की जा सकती है। जबकि में इनमें से किसी भी दस्तावेज को नहीं लिया जा रहा है। केवल आधार कार्ड के अधार पर ही उम्र का सत्यापन होता है। जबकि आधार कार्ड को केवल पते के सत्यापन के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। आधार कार्ड में उम्र का हेर फेर किया जा सकता है। अधिकांश लाभार्थियों की जन्मतिथि आधार कार्ड में एक जनवरी ही दर्ज होती है। इसमें बाल विवाह की भी आशंका है। साथ ही विवाह समारोह के पश्चात किसी भी जोड़े को विवाह प्रमाण पत्र नहीं दिया जाता है।

दिया जाए विवाह प्रमाण पत्र

मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के आवेदन मांगे जा रहे हैं तथा एक पखवाड़े में सामूहिक विवाह का आयोजन किया जाएगा। नरेश पारस ने मांग की है कि विवाह योजना के आवेदनों में उम्र संबंधी दस्तावेजों जन्म प्रमाण पत्र, शैक्षिक प्रमाण पत्र तथा मेडिकल परीक्षण को मान्यता दी जाए। जिससे नाबालिगों का विवाह न हो सके। विवाहित जोड़ों को को विवाह का प्रमाण पत्र दिया जाए। सभी धर्म के जोड़ों का उनके धार्मिक रीति रिवाजों से विवाह कराया जाए।

-up18news