Agra News: सावधान- शहर में तेजी से फैल रहा वायरल, होली के बाद मरीज बढ़े

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आगरा: जिले में पिछले एक महीने से वायरल संक्रमण फैल रहा है। तेज बुखार आने के साथ ही खांसी ठीक नहीं हो रही है। होली के बाद ऐसे मामलों में बढ़ोत्तरी हो गई है। जिला अस्पताल की ओपीडी में शुक्रवार को 2500 से अधिक मरीज पहुंचे। अधिकांश मरीज वायरल फीवर संक्रमित थे। सीएचसी सेंटरों और निजी अस्पतालों में भी कमोबेश यही हाल हैं।

चिकित्सकों का कहना है कि यह एच3एन2 वायरल संक्रमण हो सकता है। यह संक्रमण देश के कुछ अन्य राज्यों में भी फैल रहा है।

जिला अस्पताल में पहुंच रहे मरीजों में ज्यादातर बुजुर्ग और बच्चे शामिल हैं। सबसे अधिक शिकायत बुखार के साथ खांसी की है। तीन से पांच दिन में बुखार ठीक हो जाता है लेकिन मरीजों की खांसी नहीं जा रही है। निजी अस्पतालों में भी दो दिन से अधिक मरीज पहुंच रहे हैं। सीएचसी पर भी मरीजों की भीड़ बढ़ गई है।

हालांकि आगरा में एच3एन2 वायरस की जांच के लिए बुखार के किसी भी मरीज के सैंपल नहीं भेजे गए हैं लेकिन जिस तरह से देश में संक्रमण फैल रहा है उससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि जिले में भी एच3एन2 से तेजी से संक्रमण फैल रहा है। मौसम भी बदल रहा है, मौसम में हो रहे बदलाव से एच3एन2 वायरल संक्रमण फैलने का खतरा और बढ़ गया है। बच्चों से लेकर बुजुर्ग एच3एन2 वायरल संक्रमण की चपेट में आ रहे हैं। इस वायरस से संक्रमित होने पर तेज बुखार आ रहा है, बुखार से ठीक होने के बाद खांसी ठीक नहीं हो रही है। कमजोरी आ रही है।

जिला अस्पताल की डॉ. अनीता शर्मा ने बताया कि अधिकांश मरीजों में कोरोना जैसे लक्षण हैं, लेकिन कोरोना नहीं है। डॉ. शर्मा ने बताया कि मरीजों कोविड नियमों का पालन करने की सलाह दी जा रही है। घर के किसी एक सदस्य के बीमार होने पर संक्रमण परिवार के अन्य सदस्यों में भी फैल रहा है। इसलिए जो मरीज हैं, वे मास्क लगाएं, छींकते समय कपड़े का इस्तेमाल करें, हाथों को सेनेटाइजर लगाकर या साबुन से धोकर स्वच्छ रखें।

एच3एन2 वायरल संक्रमण के लिए कोई एंटी वायरल दवा नहीं है। इसमें लक्षण के आधार पर इलाज किया जा रहा है, बुखार के लिए पैरासीटामोल दी जा रही है तो गले में खराश के लिए एंटी एलर्जिक दवाएं दी जा रही हैं। एंटीबायोटिक का सीमित इस्तेमाल करने के लिए कहा गया है। इस बार खांसी ठीक होने में एक महीने तक का समय लग रहा है।

जिला अस्पताल के डॉ. अशोक अग्रवाल ने बताया कि होली के बाद मरीज बहुत बढ़ गए हैं। मरीजों में अधिकांश समय तक घिरे रहने से वह खुद बीमार हो गए थे। इसमें सिर दर्द, शरीर टूटना, ठंड लगकर बुखार आना आदि लक्षण दिखते हैं। इन्फेक्शन बढ़ने पर 5 से 6 दिन ठीक होने में लग रहे हैं। बीमार होने पर कमजोरी और खांसी 10 से 15 दिन में ठीक हो रही है।

बरतें सावधानी

डॉक्टरों की सलाह है कि बदलते मौसम में गर्मी लगने पर घरों और दफ्तरों में एसी का उपयोग करने से बचें। कोल्ड ड्रिंक, आइसक्रीम, फ्रिज के पानी का इस्तेमाल न करें। मेडिकल स्टोर से सीधे दवा न लेकर डॉक्टर को दिखाएं। ज्यादा परेशानी होने पर जांच कराएं। घबराने की जरूरत नहीं है। भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचें। संक्रमित व्यक्ति के साथ सोशल डिस्टेंस का पालन करें।