पीएम मोदी की तस्वीरें वायरल होने के बाद काजीरंगा नेशनल पार्क के बारे में सर्च कर रहे हैं लोग

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कहां है काजीरंगा नेशनल पार्क

यूनेस्को की तरफ से विश्व विरासत स्थलों की लिस्ट में शामिल काजीरंगा नेशनल पार्क असम में गुवाहाटी से करीब 194 किलोमीटर की दूरी पर है। साल 1905 में बने इस नेशनल पार्क में 1938 में शिकार पर बैन लगा दिया गया था और केवल पर्यटन के लिए आने वाले लोगों को ही इसमें एंट्री मिलती है। जंगल में महिला गार्ड भी तैनात हैं और इस टीम को ‘वन दुर्गा’ नाम दिया गया है। काजीरंगा नेशनल पार्क चार नदियों- ब्रह्मपुत्र, दिफ्लू, मोरा दिफ्लू और मोरा धनसीरी से घिरा हुआ है।

काजीरंगा नेशनल पार्क में कौन-कौन से जानवर हैं?

करीब 40 किलोमीटर लंबे और 13 किलोमीटर चौड़े दायरे में फैला ये जंगल जानवरों की लगभग 55 प्रजातियों का घर है। हालांकि, काजीरंगा की पहचान गैंडों को लेकर सबसे ज्यादा है, जिनकी संख्या यहां 2600 से भी ऊपर है। यहां हमेशा गैंडों के शिकार की आशंका रहती है, जिसे रोकने के लिए साल 1954 में असम सरकार ‘असम गैंडा विधेयक’ लेकर आई थी। गैंडों के अलावा इन जंगलों में बड़ी तादाद में हाथी भी हैं, जिनकी संख्या 1200 के आसपास है। इसके साथ ही काजीरंगा नेशनल पार्क बाघ, एशियाई जंगली भैंसे और दलदली हिरण के लिए मशहूर है।

सांपों की भी कई प्रजातियां मौजूद

बाकी जानवरों की अगर बात करें तो यहां रीछ, तेंदुआ, सियार, जंगली सूअर, कैप्ड लंगूर, हॉग हिरण, फिशिंग कैट, पैंगोलिन और बंगाल की लोमड़ी के साथ-साथ बंगाल कोबरा, किंग कोबरा और रॉक पायथन जैसी सांपों की प्रजातियां मौजूद हैं। इसके अलावा यहां स्थानीय और प्रवासी पक्षियों की करीब 500 प्रजातियां रहती हैं। इन जंगलों में ऐसे जानवरों की तकरीबन 26 प्रजातियां हैं, जो विलुप्त होने की कगार पर खड़ी हैं।

-एजेंसी