अडाणी-हिंडनबर्ग मामले में सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में एक नई याचिका दायर की गई है। याचिका में नई एक्सपर्ट कमेटी का गठन करने का अनुरोध किया गया है। इसमें कहा गया है कि कमेटी में ऐसे व्यक्तियों को शामिल किया जाए, जिनकी छवि बेदाग हो और जिनका अडाणी-हिंडनबर्ग मामले से किसी भी तरह से कोई लेना-देना न हो यानी हितों का टकराव न हो।
याचिकाकर्ता अनामिका जायसवाल ने अपने वकील रमेश कुमार मिश्रा के माध्यम से सुप्रीम कोर्ट में यह याचिका दायर की है। 24 जनवरी 2023 को अमेरिका की शॉर्ट-सेलर कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने अडाणी ग्रुप पर मनी लॉन्ड्रिंग से लेकर शेयर मैनिपुलेशन जैसे आरोप लगाए गए थे। इस मामले की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट ने 6 सदस्यीय कमेटी बनाई थी।
6 सदस्यीय कमेटी के हेड MM सप्रे थे
कमेटी के हेड रिटायर्ड जज एएम सप्रे थे। उनके साथ कमेटी में जस्टिस जेपी देवधर, ओपी भट, एमवी कामथ, नंदन नीलेकणि और सोमशेखर सुंदरेसन को भी शामिल किया गया था। कमेटी ने अपनी जांच रिपोर्ट 19 मई 2023 को सार्वजनिक की थी।
एक्सपर्ट कमेटी की रिपोर्ट के पॉइंट…
कमेटी ने रिपोर्ट में कहा- SEBI को संदेह है कि अडाणी ग्रुप में निवेश करने वाले 13 विदेशी फंडों के प्रमोटर्स के साथ संबंध हो सकते हैं।
अडाणी ग्रुप के शेयरों में वॉश ट्रेड का कोई भी पैटर्न नहीं मिला है। वॉश ट्रेड यानी वॉल्यूम बढ़ाने के लिए खुद ही शेयर खरीदना और बेचना।
कुछ संस्थाओं ने हिंडनबर्ग रिपोर्ट के पब्लिश होने से पहले शॉर्ट पोजीशन ली थी। जब शेयर के भाव गिरे तो इसे खरीदकर मुनाफा कमाया।
ओपी भट, केवी कामथ और सोमशेखर सुंदरेसन पर सवाल
नई याचिका में एक्सपर्ट कमेटी के मेंबर और भारतीय स्टेट बैंक के पूर्व चेयरमैन ओपी भट्ट, केवी कामथ और सोमशेखर सुंदरेसन के शामिल होने पर सवाल उठाए गए हैं। याचिका में कहा गया है कि इन मेंबर्स के समिति में शामिल होने से हितों का टकराव हो रहा है।
ओपी भट रिन्यूएबल एनर्जी लिमिटेड कंपनी ग्रीनको के चेयरमैन हैं। एनर्जी प्रोवाइड करने के लिए ग्रीनको और अडाणी ग्रुप मार्च 2022 से क्लोज पार्टनरशिप में हैं।
ICICI बैंक की MD रहीं चंदा कोचर से जुड़े फ्रॉड केस में CBI की FIR में केवी कामथ का भी नाम है। केवी कामथ 1996 से 2009 तक ICICI बैंक के चेयरमैन थे।
Compiled: up18 News