भारतीय खाना दुनिया के अन्य हिस्सों के खाने से ज्यादा पौष्टिक होता है। इसकी सबसे बड़ी वजह है हमारे खाने में इस्तेमाल होने वाले मसाले। ज्यादातर भारतीय मसालों में औषधीय और आयुर्वेदिक गुण होते हैं इसलिए खाने में इन्हें डालने से न सिर्फ खाना स्वादिष्ट और खुशबूदार बनता है बल्कि ये मसाले कई तरह के रोगों से भी हमें बचाते हैं।
डायबीटीज रोकने में मदद करती है हल्दी
हल्दी लगभग सभी व्यंजनों में इस्तेमाल की जाती है। हल्दी में पाया जाने वाला करक्युमिन नामक तत्व टाइप-2 डायबीटीज को रोकने में मदद करता है। इसके इस्तेमाल से त्वचा सम्बन्धी रोग भी दूर होते हैं। इसके अलावा घाव या कटे पर हल्दी लगाने से भी काफी आराम मिलता है।
हृदय रोगों से बचाती है दालचीनी
दालचीनी ना सिर्फ खाने का जायका बढ़ाती है बल्कि टाइप-2 डायबीटीज और हृदय रोगों से भी बचाती है। दालचीनी में कैल्शियम और फाइबर भरपूर मात्रा में होता है। यह ब्लड शुगर को संतुलित करने की प्रभावी दवा है।
मेटाबॉलिज्म को तेज करती है मिर्च
मिर्च में मौजूद कैप्सेसिन नामक तत्व शरीर के मैटाबॉलिज्म को तेज करता है। इससे शरीर की कैलरीज ज्यादा बर्न होती हैं जिससे शरीर का वजन नहीं बढ़ता। इसमें मौजूद ऐंटिऑक्सिडेंट्स कलेस्ट्रॉल को घटाने में मदद करते हैं।
आयरन का स्त्रोत है जीरा
जीरा आयरन का बहुत अच्छा स्रोत है। इसका सेवन नियमित रूप से करने से खून की कमी को दूर किया जा सकता है। इसमें मौजूद ऐंटि-इंफ्लेमेंट्री और ऐंटिऑक्सिडेंट गुण ट्यूमर को बढ़ने से रोकता है। इसके अलावा जीरे का सेवन बवासीर में भी लाभकारी माना जाता है।
जायफल में पोटैशियम
जायफल में ऐंटि-बैक्टीरियल तत्व होने के साथ ही इसमें मिनरल, पोटैशियम, कैल्शियम, आयरन और मैगनीशियम भी पाया जाता है। इसके सेवन से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है। साथ ही जायफल के इस्तेमाल से त्वचा पर पड़ने वाली झुर्रियां और झाइयां भी दूर हो जाती हैं।
पाचन ठीक करे अजवाइन
अजवाइन रुचिकारक एवं पाचक होती है। यह भूख व पाचन शक्ति को बढ़ाकर पेट संबंधी अनेक रोग जैसे- गैस, अपच, कब्ज आदि को दूर करने में सहायक होती है। साथ ही अजवाइन डायबीटीज रोगी को फंगल इंफेक्शन से भी बचाती है।
कब्ज दूर करती है काली मिर्च
काली मिर्च में पाइपरीन नामक तत्व पाया जाता है जो मेटाबॉलिज्म को बढ़ाता है और पाचन तंत्र को ठीक रखता है। इसके सेवन से कब्ज नहीं होता और पेट को भी काफी आराम मिलता है। यह वजन कम करने में भी आपकी मदद करती है।
ऐंटिसेप्टिक गुणों से भरपूर लौंग
लौंग पाचन तंत्र को ठीक रखता है। दांत दर्द से बचने के लिए लौंग के तेल का इस्तेमाल किया जाता है। इसमें मौजूद ऐंटिसेप्टिक गुणों के कारण इसे बेहतर माउथवॉश भी कहते हैं। इसके अलावा यह मुंहासों को दूर करने में भी मदद करता है।
-एजेंसी