जवानों के बीच दीवाली मनाते हुए पीएम मोदी ने दिया दुनिया को संदेश, युद्ध हमारे लिए आखिरी विकल्‍प

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जवानों को संबोधित करते हुए पीएम मोदी बोले, ‘हम उस परंपरा को मानने वाले हैं जहां युद्ध को पहला विकल्प नहीं माना। हमने हमेशा युद्ध को अंतिम विकल्प माना है। युद्ध लंका में हुआ हो या फिर कुरुक्षेत्र में। अंत तक उसे टालने की हरसंभव कोशिश की। हम विश्वशांति के पक्षधर हैं। मैं अपनी तीनों सेनाओं की प्रशंसा करता हूं जिन्होंने तय किया है कि 400 से अधिक रक्षा सामान अब विदेशों से नहीं खरीदे जाएंगे, बल्कि भारत में बनाए जाएंगे।’

मुंहतोड़ जवाब देना जानती है हमारी सेना’

पीएम मोदी ने कहा, ‘हम युद्ध के विरोधी हैं लेकिन शांति भी बिना सामर्थ्य के संभव नहीं होगी। हमारी सेनाओं के पास सामर्थ्य भी है, रणनीति भी है अगर कोई हमारी नजर उठाकर देखेगा। हमारी तीनों सेनाएं दुश्मन को उसी की भाषा में मुंहतोड़ जवाब देना भी जानती है।’

पीएम मोदी ने कहा, ‘कई वर्षों से आप सब मेरा परिवार हो। मेरी दिवाली की मिठास और चमक आप लोगों बीच है। पाकिस्तान के साथ ऐसा कोई युद्ध नहीं हुआ है जहां करगिल ने विजय पताका नहीं फहराया है। भारत कामना करता है कि प्रकाश का यह त्योहार दुनिया के लिए शांति का मार्ग प्रशस्त करे।’

भ्रष्टाचारी कितना भी ताकतवर हो, उसे छोड़ा नहीं जाएगा’

कारगिल में पीएम मोदी ने कहा, ‘एक राष्ट्र तब सुरक्षित होता है जब सीमाएं सुरक्षित हों, अर्थव्यवस्था मजबूत हो और समाज विश्वास से भरा हो। भारत की प्रतिष्ठा विश्व स्तर पर बढ़ी है, यह और तेजी से बढ़ रही है और ऐसा इसलिए संभव हो पाया है क्योंकि यह बाहर और अंदर के दुश्मनों से सफलतापूर्वक निपट रहा है।’

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘भ्रष्टाचार के खिलाफ निर्णायक लड़ाई जारी है, भ्रष्टाचारी कितना भी ताकतवर हो उसे छोड़ा नहीं जाएगा। सशस्त्र बलों में महिलाओं को शामिल करने से हमारी ताकत बढ़ेगी। राष्ट्र की सुरक्षा के लिए आत्मनिर्भर भारत बहुत महत्वपूर्ण है, विदेशी हथियारों और प्रणाली पर हमारी निर्भरता न्यूनतम होनी चाहिए।’

कड़ाके की ठंड में कारगिल पहुंचे मोदी

कड़ाके की ठंड के बीच जवानों के साथ रोशनी का त्योहार मनाने के लिए पीएम मोदी कारगिल पहुंचे। जव वह यहां पहुंचे तो तापमान जमाव बिंदु के करीब था। गौरतलब है कि पीएम मोदी जब गुजरात के मुख्यमंत्री थे तब से ही दिवाली की खुशी साझा करने के लिए सैनिकों से मिलने जाते रहे हैं। पिछले साल उन्होंने जम्मू-कश्मीर के जम्मू संभाग के सीमावर्ती शहर नौशेरा में दिवाली मनाई थी। 2020 में उन्होंने राजस्थान के जैसलमेर में सैनिकों के साथ दिवाली की खुशियां साझा की थीं।

हर साल जवानों के साथ दिवाली मनाते आए हैं मोदी

2019 में दिवाली पर मोदी जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले गए थे, जबकि 2018 में वह सेना और आईटीबीपी के जवानों के साथ दिवाली मनाने के लिए उत्तराखंड में थे। 2017 में प्रधानमंत्री ने जम्मू-कश्मीर के सीमावर्ती शहर गुरेज में बीएसएफ के जवानों के साथ दिवाली मनाई थी। इसी तरह 2016 में वह हिमाचल प्रदेश गए थे। मोदी ने 2015 में पंजाब में सैनिकों के साथ दिवाली मनाई और 2014 में वह दिवाली पर सैनिकों के साथ दिवाली मनाने को दुनिया के सबसे ऊंचे युद्धक्षेत्र सियाचिन ग्लेशियर गए।

-एजेंसी


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