समुद्र के बीचों-बीच बसा है दुनिया का सबसे छोटा देश, डोनेशन से चलती है अर्थव्यवस्था

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समुद्र के बीच बसा है देश

आपको बता दें कि इस देश का नाम सीलैंड (Sea Land) है। ये देश ब्रिटेन के पास है। ब्रिटेन के सफोल्क समुद्री तट से करीब 10 किलोमीटर दूरी पर बसा ये देश एक खंडहर हो चुके समुद्री किले पर बसा है। इस किले को दूसरे विश्व युद्ध के दौरान ब्रिटेन ने हथियार रखने के लिए बनाया था। ये देश ब्रिटेन की सीमा के बाहर था इसलिए विश्व युद्ध के बाद इसे तोड़ा जाना था लेकिन इसे नष्ट नहीं किया गया। बता दें कि साल 2002 में हुई जनसंख्या के मुताबिक यहां की कुल आबादी 27 है।

द्वितीय विश्व युद्ध के समय बना था किला

सीलैंड की ऑफिशियल वेबसाइट के मुताबिक 1950 के दशक की शुरुआत में ब्रिटिश सेनाओं ने इन समुद्री किलों को छोड़ दिया। विश्व संकट के समय में अंतर्राष्ट्रीय जल में उनके अवैध निर्माण के कारण, उन्हें अंतर्राष्ट्रीय कानून का पालन करने के लिए नष्ट कर दिया जाना चाहिए था लेकिन सीलैंड वाले किले को छोड़कर अन्य सभी किलों को ध्वस्त कर दिया गया। इसे माइक्रो नेशन कहा जाता है। माइक्रो नेशन वे देश होते हैं, जिन्हें इंटरनेशनल मान्यता नहीं मिलती।

ऐसे बना स्वतंत्र देश

60 के दशक की शुरुआत में ब्रिटिश सेना में एक मेजर रॉय बेट्स ने ‘नॉक जॉन’ नाम से यहां एक रेडियो स्टेशन की स्थापना की। रॉय का स्टेशन रेडियो एसेक्स और इसके जैसे अन्य मीडिया द्वारा समुद्री डाकू रेडियो स्टेशनों के रूप में जाना जाता था। ब्रिटिश जनता इसे काफी पंसद करती थी। इस रेडियो स्टेशन पर पॉप म्यूजिक और अन्य मनोरंजक चीजें प्रसारित की जाती थीं। बाद में रॉय ने यूके सरकार के साथ कानून लड़ाई लड़ी।

यूके ने इस किले पर अवैध कब्जे पर सवाल उठाया। यूके का कहना था कि ये किला उनके अधिकार क्षेत्र में आता है। बीच में रॉय ने रेडियो स्टेशन बंद भी कर दिया लेकिन 1966 में क्रिसमस के मौके पर रॉय ने फिर से इसे शुरू किया। अपने वकीलों से परामर्श करने के बाद रॉय ने इस किले के द्वीप को ‘सीलैंड’ स्वतंत्र राज्य घोषित करने का फैसला किया।

2 सितंबर 1967 को अपनी पत्नी जोन के जन्मदिन पर परिवार और दोस्तों के साथ रॉय ने सीलैंड की रियासत की घोषणा की। इस दौरान सीलैंड के अलग झंडे को भी जारी किया गया। रॉय ने अपनी पत्नी के जन्मदिन पर तोहफे में अलग देश बना लिया। इसके बाद उनकी पत्नी को प्रिंसेस जोन के नाम से जाना जाने लगा।

ब्रिटिश अदालत पहुंचा था मामला

लेकिन ब्रिटेन को सीलैंड का स्वतंत्र राज्य घोषित करना मंजूर नहीं था। ब्रिटिश सरकार ने समुद्री किलों को ध्वस्त करने का आदेश दिया। सेना ने सीलैंड को ध्वस्त करने की भी कोशिश की। चूंकि रॉय और उनका परिवार ब्रिटिश नागरिक थे इसलिए उनके खिलाफ समन जारी किया गया। ये मामला अदालत में पहुंचा, जहां लंबी बहस के बाद ये फैसला हुआ कि सीलैंड यूके की सीमा क्षेत्र में नहीं है। इसलिए वहां यूके की अदालतों का कोई अधिकार नहीं है। यह सीलैंड की पहली आधकारिक मान्यता थी।

डोनेशन से चलती है अर्थव्यवस्था

9 अक्टूबर 2012 को रॉय बेट्स नाम ने खुद को सीलैंड का प्रिंस घोषित कर दिया। रॉय बेट्स की मौत के बाद से इस पर उनके बेटे माइकल का शासन है। सीलैंड का क्षेत्रफल 250 मीटर (0.25 किलोमीटर) है। खंडहर हो चुके इस किले को सीलैंड के साथ-साथ रफ फोर्ट के नाम से भी जाना जाता है। इस देश में कमाई का कोई जरिया नहीं है। पहली बार इंटरनेट के जरिए लोगों ने इसके बारे में जाना। लोगों ने इस छोटे देश को डोनेशन दिया। फेसबुक पर प्रिंसिपैलिटी ऑफ सीलैंड के नाम एक पेज भी है, जो काफी मशहूर है। हालांकि अब दुनियाभर से कई टूरिस्ट यहां घूमने जाते हैं।

Compiled: up18 News