साहित्य अकादमी युवा पुरस्कार और माफ़िया गैंग: क्या साहित्य में माफ़िया गैंग का प्रवेश हो चुका है?

इस बार की साहित्य अकादमी युवा पुरस्कार की अंतिम घोषणा पूर्णतः जाली और संशयाधीन प्रतीत हो रही है। इससे बड़ी साहित्यिक दुर्घटना और क्या हो सकती है? इन मानदंडों पर चलते हुए हम कहाँ जा रहे हैं? समाज को क्या सीख दे रहे हैं? क्या इन्हीं अनैतिक मूल्यों के साथ आज का युवा और उनका […]

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