चुनाव के समय खंडित न हो भाईचारे का भाव

चुनाव में कुछ लोगों द्वारा इसे आपसी साख का प्रश्न बना लिया जाता है जो धीरे-धीरे जहर का रूप ले लेता है। बढ़ती प्रतिद्धंद्विता रिश्तों का क़त्ल करने लगती है। अगर कोई ऐसे समय साथ न दे तो मित्र भी दुश्मन लगने लग जाते है। मगर यह हमारी भूल है। कोई भी चुनाव आखरी नहीं […]

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नग्नता का नंगा नाच करती सोशल मीडिया..

जीवन का चरमसुख अब फॉलोअर्स पाने और कमेंट आने पर निर्भर हो गया है। फेसबुक जैसे प्लेटफॉर्म पर नग्न अवस्था में तस्वीरें शेयर कर आज लड़कियां लाइक कमेंट पाकर खुद को अनुगृहित करती दिखाई देती है मानो जीवन की सबसे अहम और जरूरी ऊंचाई को उन्होंने पा लिया हो। इस नग्नता को हम आधुनिकता के […]

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श्रीलंका में राजनीतिक बदलाव कहीं भारत के लिए खतरे की घंटी तो नहीं

श्रीलंका में राजनीतिक बदलाव कहीं भारत के लिए खतरे की घंटी तो नहीं। चीन के लिए, जे.वी.पी. के नेतृत्व वाला श्रीलंका उसके ‘मोतियों की माला’ में एक और रत्न होगा, जो क्षेत्र पर उसकी पकड़ को मजबूत करेगा। श्रीलंका दे सकता है टेंशन, भारत करे तो क्या? चीन की ओर झुकाव से श्रीलंका कर्ज के […]

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डिजिटल युग में फर्जी खबरें बनी समाज के लिए चुनौती

यह पवित्रता ही है जो समाचार को समाज में एक विशिष्ट स्थान प्रदान करती है। लेकिन फर्जी खबरों की परिघटना समाचार के मूल मूल्यों को निशाना बनाती है, जो असामाजिक तत्वों, अफवाह फैलाने वालों या उन उच्च और शक्तिशाली लोगों के निजी हितों को पोषित करती है, जो समाचार की आड़ में अपना निजी एजेंडा […]

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डिजिटल दुनिया में क्या देख रहे हैं आपके बच्चे: साइबर सुरक्षा आधुनिक पेरेंटिंग का एक अनिवार्य हिस्सा

डिजिटल युग में, ऑनलाइन सुरक्षा और बच्चों के सूचना तक पहुँच के अधिकार के बीच संतुलन बनाना एक जटिल चुनौती बनी हुई है। सहयोगात्मक प्रयासों, डिजिटल साक्षरता में सुधार और आयु-उपयुक्त मजबूत विनियमों को लागू कर, बच्चों को ऑनलाइन खतरों से बेहतर तरीके से सुरक्षित किया जा सकता है। बच्चों के लिए साइबर सुरक्षा आधुनिक […]

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हर घर तिरंगा अभियान, मगर रखें राष्ट्रीय ध्वज का भी मान

अपना राष्ट्रीय ध्वज यानी तिरंगा। इसको लहराते देख गर्व से सीना चौड़ा हो जाता है। इस के सम्मान में इसे सैल्यूट करने का मन चाहता है। हमारे राष्ट्रीय प्रतीकों का कोई दुरुपयोग ना करे, कोई इनका अपमान न करे। झंडों को फेंके नहीं, कूड़ेदान में भी नहीं डालें। घर पर लगे झंडों को तह बनाकर […]

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सावन में खुशियों के बीज, बोने आती हरियाली तीज

श्रावण का महीना महिलाओं के लिए विशेष उल्लास का महीना होता है। इस महीने में आने वाले अधिकांश लोक पर्व महिलाओं द्वारा ही मनाए जाते हैं। श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को श्रावणी तीज कहते हैं। इसे हरितालिका तीज भी कहते हैं। जनमानस में यह हरियाली तीज के नाम से जानी जाती […]

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बाबाओं के मायाजाल में फंसती भीड़: इनके पीछे जनता के भागने का क्या है अर्थशास्त्र और मनोविज्ञान ?

आजकल विभिन्न सामाजिक वर्गों में अलग-अलग िकस्म के अंधविश्वास प्रचलित हैं। इतने जागरूकता अभियानों के बावजूद आज भी आपको गांव-कस्बों में भूत-प्रेत के िकस्से सुनने को मिल जाएंगे। वहीं हायर क्लास के अंधविश्वास अलग हैं। इस क्लास में भी असुरक्षा की भावना कम नहीं है। इस वर्ग के लोग यूं तो अत्याधुनिक होने का दावा […]

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वैश्विक सुर्खियों में हैं जातीय संघर्ष में ‘सुलगता’ मणिपुर..

बीते दो-तीन महीने से मणिपुर में जातीय संघर्ष लगातार जारी है। इस हिंसा में सैकड़ों लोगों की मौत हो चुकी है, इस राज्य का जातीय हिंसा से पुराना नाता रहा है, और इसी जातीय गुटबंदी का परिणाम रहा है कि कुकी-नागा, मैतेई- पंगाल मुस्लिम, कुकी-कार्बी, हमार-दिमासा, कुकी-तमिल, और व्यापारियों के विरुद्ध हुई संघर्ष को यहाँ […]

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‘न्यू इंडिया’ को ‘स्वस्थ भारत’ में बदलेंगे आयुर्वेद और योग

आयुर्वेद और योग ने प्राचीन भारतीय विज्ञान के रूप में 5000 साल पहले अपनी यात्रा शुरू की थी। जबकि सिद्ध दक्षिण भारत में लोकप्रिय दवाओं की प्राचीन प्रणालियों में से एक है, यूनानी, चिकित्सा की पारंपरिक प्रणाली की उत्पत्ति प्राचीन ग्रीस में हुई है। आयुष अपने नागरिकों के लिए गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य देखभाल और चिकित्सा देखभाल […]

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