राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण NCLAT ने सीमेंस लिमिटेड की वह अपील खारिज कर दी जो उसने मीनाक्षी एनर्जी द्वारा उसकी बैंक गारंटी को भुनाने (उपयोग करने) के खिलाफ दी थी।
दिवाला कार्यवाही का सामना कर रही मीनाक्षी एनर्जी लिमिटेड (एमईएल) 700 मेगावॉट का ताप ऊर्जा संयंत्र स्थापित कर रही थी और इस परियोजना के लिए सीमेंस उप-ठेकेदार थी।
अपीलीय न्यायाधिकरण ने इस मामले में राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) की हैदराबाद पीठ का पहले का आदेश बरकरार रखा और कहा कि एमईएल ने बैंक गारंटी का उपयोग इस आधार पर किया कि सीमेंस समझौते की शर्तों के अधीन अपने दायित्वों का पालन करने में विफल रही है।
एमईएल के समाधान पेशेवर ने 2.50 करोड़ रुपये जारी करने की अनुमति मांगी थी और इसे 13.06 करोड़ रुपये के बकाया के एवज में इस्तेमाल करने की मंजूरी दी थी।
-एजेंसी