राजस्थान में चल रहे हाईप्रोफ़ाइल सियासी घमासान के बीच विपक्षी पार्टी बीजेपी ने राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू करने की मांग की है.
बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष ने एक ट्वीट किया और कहा कि भगवान राजस्थान की रक्षा करें.
राजस्थान बीजेपी के नेता राजेंद्र राठौड़ ने ट्वीट किया और कहा कि राजस्थान के हालात राष्ट्रपति शासन की ओर इशारा कर रहे हैं.
उन्होंने लिखा, ‘‘राजस्थान में मौजूदा राजनीतिक हालात राष्ट्रपति शासन की ओर इशारा कर रहे हैं. मुख्यमंत्री अशोक गहलोतजी, आप नाटक क्यों कर रहे हो. मंत्रिमंडल के इस्तीफे के बाद अब देरी कैसी. आप भी इस्तीफा दे दीजिए.’’
प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा कि राजस्थान के मौजूदा हालात 2023 में होने वाले चुनावों का रुझान हैं और दावा किया कि अगले चुनाव में बीजेपी की सरकार बनेगी.
उन्होंने ट्वीट करके कहा कि राजस्थान कांग्रेस में इस्तीफ़े का सियासी पाखंड चल रहा है.
केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने तंज कसते हुए कहा कि यह बाड़ेबंदी की सरकार है.
जारी है घमासान
रविवार को राजस्थान में सियासी पारा गरम रहा. अशोक गहलोत के समर्थक विधायक नए मुख्यमंत्री के चुनाव से पहले अपना इस्तीफ़ा देने विधानसभा अध्यक्ष के आवास पहुंच गए.
दरअसल, अब राज्य में सत्ता के लिए अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच टकराव साफ़ दिख रहा है.
अटकलें लगाई जा रही थीं कि गहलोत के कांग्रेस अध्यक्ष पद की उम्मीदवारी पर सचिन पायलट को राज्य का मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है लेकिन फिलहाल कांग्रेस में जारी घमासान ने हालात बदल दिए हैं.
सचिन पायलट समर्थक विधायक उन्हें मुख्यमंत्री बनाने की मांग कर रहे हैं, जबकि अशोक गहलोत के समर्थक विधायकों का कहना है कि मुख्यमंत्री उस समूह से होना चाहिए जिन्होंने सरकार बचाई थी.
समाचार एजेंसी एएनआई ने कांग्रेस विधायक प्रताप सिंह खाचरियावास के हवाले से बताया है कि केवल 10-15 विधायकों को सुना गया और बाक़ी की उपेक्षा कर दी गई.
उन्होंने कहा कि पार्टी हम लोगों की नहीं सुनना चाहती और इसके बिना ही निर्णय लिए जा रहे हैं.
-एजेंसी
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