पाकिस्तान के वित्त मंत्री मिफ़्ताह इस्माइल ने कहा है कि अगर सरकार जुलाई तक पेट्रोलियम उत्पादों से सब्सिडी नहीं हटाती है तो देश डिफॉल्ट होने की स्थिति में आ जाएगा.
वित्त मंत्री ने एक समाचार चैनल से बातचीत में कहा कि अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष IMF पेट्रोलियम उत्पादों पर सब्सिडी हटाने पर ज़ोर दे रहा है.
हालांकि, पाकिस्तान ने आर्थिक स्थिरता लाने और आईएमएफ़ के अरबों डॉलर के लोन प्रोग्राम को शुरू करने के लिए पेट्रोल की क़ीमतों में बढ़ोत्तरी की है. पिछले महीने पेट्रोल के दामों में 60 रुपए की बढ़ोत्तरी की गई है.
बजट के बाद पाकिस्तान की सरकार आईएमएफ़ से मदद की उम्मीद भी जता रही थी लेकिन वित्त मंत्री ने पिछले हफ़्ते कहा, ”IMF अब भी सरकार से ख़ुश नहीं है क्योंकि सरकार ने IMF के सुझाए निजी आयकर उपायों को लागू नहीं किया.”
मिफ़्ताह इस्माइल ने यह भी कहा था कि पाकिस्तान में चल रही आर्थिक उथल-पुथल को दूर करने के लिए क़दम उठाने और पेट्रोल की क़ीमत बढ़ाने के बाद पाकिस्तान में कोई वित्तीय आपातकाल नहीं है लेकिन अब उन्होंने कहा है कि अगर सरकार पेट्रोलियम उत्पादों की कीमत नहीं बढ़ाती तो IMF पाकिस्तान के साथ डील नहीं करेगा और ऐसा नहीं हुआ थो देश बर्बादी की तरफ़ बढ़ जाएगा.
उन्होंने कहा, ”मैंने प्रधानमंत्री से कहा है कि हमें मुश्किल फ़ैसले लेने होंगे. प्रधानमंत्री तेल के दाम बढ़ाने से ख़ुश नहीं हैं. जब भी मैं इस संबंध में सारांश भेजता हूँ तो मंत्रियों को ये पसंद नहीं आता.”
वित्त मंत्री ने दावा किया कि सरकार अब भी पेट्रोल पर 19 रुपए और डीज़ल पर 53 रुपए सब्सिडी दे रही है. उन्होंने कहा कि श्रीलंका ने भी लोगों को सब्सिडी दी थी और वो डिफ़ॉल्ट हो गया.
इससे पहले भी मिफ़्ताह इस्माइल देश के ख़राब आर्थिक हालात और डिफ़ॉल्ट होने के ख़तरे को लेकर चिंता जता चुके हैं.
-एजेंसियां
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