तपस्‍वी छावनी के महंत परमहंस को फिर नहीं मिला ताजमहल में प्रवेश, बैरंग वापस, शुरू किया अनशन

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ताज महल प्रवेश करने पर अड़े अयोध्‍या की तपस्‍वी छावनी के महंत परमहंस महाराज को एक बार फिर बैरंग लौटना पड़ा है। मंगलवार को आगरा प्रशासन ने उन्हें उनके शिष्य के साथ उनकी गाड़ी से उतार लिया और उन्हें शहर से बाहर ले गए। इस पूरे घटनाक्रम में पुलिस के पसीने छूट गए। ईद (Eid) के मौके पर किसी तरह का कोई बवाल न हो जाए इसलिए पुलिस प्रशासन सुबह से ही मुस्तैद था।

जगद्गुरू के साथ ताज महल में प्रवेश की मांग करने वाले कई हिंदूवादी संगठन के नेताओं को भी नजर बंद कर दिया गया था। परमहंस ने पांच मई को आगरा आने का ऐलान किया था, लेकिन उनके अचानक पहुंचने से आगरा पुलिस के हाथ-पांव फूला गए।

ताजमहल को तेजोमहल कहने वाले अयोध्या के संत परमहंस मंगलवार को फिर से ताजमहल में प्रवेश करने पहुंच गए थे। वे विश्व हिंदू परिषद के पूर्व पदाधिकारी रवि दुबे की गाड़ी में सवार थे। रवि दुबे की कार से परमहंस ताजमहल की ओर बढ़ रहे थे। उनके पीछे पुलिस की गाड़ियां चल रही थीं। ताजमहल के नजदीक फतेहाबाद रोड तोरा पुलिस चौकी के पास गाड़ी को रोक लिया और उन्हें वीआईपी सिक्योरिटी में ताजमहल के भीतर ले जाने का वायदा करके कहीं और लेकर आए। ईद के अवसर पर कोई विवाद न हो इसलिए आगरा पुलिस प्रशासन ने बड़ी सावधानी के साथ जगद्गुरू को शहर से बाहर निकाल दिया। पुलिस प्रशासन की कार्यशैली पर जाते-जाते जगद्गुरू सियासी बयान दे गए। उन्होंने कहा कि टोपी वालों को ताजमहल पर प्रवेश देते हैं और भगवा रंग वालों को रोक दिया जाता है। ये सरासर अन्याय है।

पांच को आने का किया था ऐलान

अयोध्या के संत परमहंस आचार्य 26 अप्रैल को शाम 5.35 पर अपने शिष्यों के साथ ताजमहल देखने आए थे। वे भगवा वस्त्र धारण किये थे और उनके साथ दो शिष्य भी थे, लेकिन हाथ में ब्रह्मा दंड होने के चलते उन्हें ताजमहल के भीतर जाने नहीं दिया गया। ये मामला काफी तूल पकड़ गया। संत के समर्थन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ आदि को ट्वीट किया गया था कि आखिर भगवा का ताजमहल में प्रवेश क्यों नहीं। संत ने दोबारा से आगरा आने का ऐलान किया। उन्होंने पांच मई को आगरा आने की घोषणा की थी।

जगद्गुरु परमहंस आचार्य को आगरा पुलिस ताज़ दिखाने के बहाने ले गयी कीठम झील! 

ताजमहल को तेजो महल बताकर जलाभिषेक करने का एलान करने वाले अयोध्या छावनी तपस्वी अखाड़े के जगद्गुरु परमहंस आचार्य को आगरा पुलिस ने अपनी हिरासत में ले लिया है। बताया जाता है कि जगद्गुरु परमहंस आचार्य ताजमहल अंदर जाने की जिद पर अड़े हुए थे। आगरा पुलिस ने कहा कि हम भी उनके साथ चलेंगे। इसी बीच आगरा पुलिस उन्हें अपने साथ लेकर कहीं और चली गई जबकि उनके साथ चल रहे विश्व हिंदू परिषद के रवि दुबे को गाड़ी से उतार दिया।

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक आगरा पुलिस जगद्गुरु शंकराचार्य को कीठम झील की तरफ लेकर गई है। इस दौरान कीठम झील के किसी के भी प्रवेश करने पर रोक लगा दी गई है। किसी को भी जदगुरू परमहंस से मिलने नहीं दिया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर इस मामले को लेकर आगरा शहर में किसी तरह का बवाल न हो इसके लिए तमाम हिंदूवादी नेताओं को पुलिस प्रशासन ने पहले से ही नजर बंद कर दिया है।

इतना ही नहीं कैलाश मंदिर के महंत निर्मल गिरी भी जगद्गुरु के समर्थन में उनके पास पहुंच गए तो आगरा पुलिस उन्हें भी गाड़ी में बैठा कर अपने साथ ले गई है। इससे पहले आगरा पुलिस और परमहंस आचार्य के बीच जमकर गहमागहमी भी हुई थी और उन्होंने स्थानीय प्रशासन पर भगवा पहने होने के कारण ताज महल में प्रवेश न दिए जाने का आरोप लगाया था।

हिंदूवादी नेताओं को किया नजरबंद

संत परमहंस के साथ हुए बर्ताव से नाराज हिंदूवादी संगठन राष्ट्रीय हिंदू परिषद (भारत) के गोविंद पाराशर अगले दिन अपने साथियों के साथ ताजमहल पहुंच गए। भगवा धारण कर हाथ में डंडा लेकर उन्होंने ताजमहल का भ्रमण किया। इस दौरान ताज सुरक्षा और सीआईएसएफ के जवान भी साथ रहे थे। संत परमहंस के ऐलान के बाद हिंदूवादी नेताओं ने उनके समर्थन में आने की घोषणा की थी। यही वजह रही कि हिंदूवादी नेता गोविंद पाराशर को उनके घर पर आज सुबह ही नजरबंद कर दिया गया।

जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने शुरू किया अनशन, बोले – ‘भगवा पहनकर ताज़ में प्रवेश करने के बाद ही जाऊंगा वापस’

 

आगरा आए जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने कीठम झील के गेस्ट हाउस में अनशन शुरू कर दिया है। परमहंस आचार्य ने अन्न जल का त्याग कर दिया है और ऐलान किया है कि जब तक वह भगवा पहन कर तेजो महल यानी ताजमहल का भ्रमण नहीं करेंगे तब तक वह आगरा से अयोध्या वापस नहीं जाएंगे। जगद्गुरु परमहंस आचार्य के इस ऐलान के बाद से जहां धार्मिक राजनीति गर्मा गई है तो वहीं पुलिस प्रशासन के भी होश उड़ गए हैं।

आपको बताते चलें कि जगद्गुरु परमहंस आचार्य मंगलवार सुबह आगरा पहुंचे थे और ताजमहल जा रहे थे, तभी पुलिस प्रशासन ने उन्हें हिरासत में ले लिया। इस दौरान करीब 4 घंटे तक उन्हें घुमाया गया और फिर शिवम गेस्ट हाउस ले जाया गया जहां उन्हें नजरबंद कर दिया गया। पुलिस की कार्यप्रणाली से नाराज होकर जगत गुरु परमहंस आचार्य अनशन शुरू कर दिया है, साथ ही अन्न-जल पूरी तरह से त्याग दिया है।

जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने कहा कि वह एएसआई चीफ के निवेदन पर आगरा ताजमहल भ्रमण के लिए आए थे लेकिन भगवा पहने होने के कारण उन्हें ताजमहल में प्रवेश करने से पहले ही हिरासत में ले लिया, यह मेरा नहीं बल्कि उन्होंने भगवा का अपमान किया है। परमहंस आचार्य ने कहा कि जब इस संबंध में अधिकारियों से बातचीत हुई तो अधिकारियों ने उन्हें जवाब दिया कि ताजमहल के अंदर सिर्फ टोपी पहने हुए व्यक्ति ही जा सकते हैं।

-एजेंसियां