केजरीवाल ने साधा भाजपा पर निशाना, संघ से पूछें सवाल

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केजरीवाल ने ‘जनता की अदालत’ में कहा है, “आपके मन में ये आ रहा होगा कि केजरीवाल ने इस्तीफ़ा क्यों दिया. मैंने इस्तीफ़ा इसलिए दिया कि मैं भ्रष्टाचार करने के लिए नहीं आया था. मैं पैसे कमाने नहीं आया था.”

“पैसे कमाने होते तो मैं इनकम टैक्स कमिश्नर की नौकरी करता था. उस नौकरी में जितना चाहता पैसे कमा सकता था. मुझे सत्ता की भूख नहीं है. मुझे सीएम की कुर्सी का भूख नहीं है. देश के लिए आए थे. भारत माता के लिए थे.”
जंतर मंतर पर पुराने दिनों को याद करते हुए केजरीवाल ने कहा है कि 4 अप्रैल 2011 को अन्ना आंदोलन यहीं से शुरू हुआ था.

अरविंद केजरीवाल ने कहा है, “उस वक़्त की सरकार भी बहुत अहंकारी थी और कहती थी कि चुनाव लड़कर दिखाओ… हमने चुनाव लड़कर दिखाया. हमने देश के अंदर दिखा दिया कि ईमानदारी से चुनाव लड़ा भी जा सकता है और जीता भी जा सकता है.”

मोहन भागवत से पूछे पांच सवाल

दिल्ली के जंतर मंतर पर ‘जनता की अदालत’ में केजरीवाल ने केंद्र की मौजूदा सरकार को निशाने पर लिया है और आरएसएस प्रमुख मोहन भागवन से पांच सवाल पूछे हैं.
अरविंद केजरीवाल ने कहा है कि ‘मैं पूरे सम्मान के साथ मोहन भागवत जी से पांच सवाल पूछना चाहता हूँ.’

“जिस तरह से मोदी जी देशभर में लालच देकर ईडी और सीबीआई की धमकी देकर दूसरी पार्टी के नेताओं को तोड़ रहे हैं, ये भारत के लोकतंत्र के लिए सही है या हानिकारक है?”

केजरीवाल का दूसरा सवाल, “देश के सबसे भ्रष्टाचारी नेताओं को, जिन लोगों को ख़ुद मोदी जी ने भ्रष्टाचारी कहा, अमित शाह जी ने भ्रष्टाचारी कहा उन्हें मोदी जी ने अपनी पार्टी में शामिल करवा लिया है. क्या मोहन भागवत जी ने ऐसी राजनीति की कल्पना की थी?”

केजरीवाल ने मोहन भागवत से पूछा है कि ‘बीजेपी आरएसएस की कोख से पैदा हुई थी तो यह देखना आरएसएस की ज़िम्मेदारी है कि बीजेपी पथभ्रष्ट न हो, मोहन भागवत जी बताएं कि क्या आपने मोदी जो को ये सब करने से रोका?’

अरविंद केजरीवाल ने लोकसभा चुनाव के दौरान बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा के एक बयान पर भी मोहन भागवनत से सवाल पूछा है.

केजरीवाल ने पूछा है कि ‘जेपी नड्डा जी ने लोकसभा चुनाव के दौरान कहा कि बीजेपी को अब आरएसएस की ज़रूरत नहीं है. आरएसएस बीजेपी की मां समान है तो क्या बेटा इतना बड़ा हो गया है कि मां को आंख दिखाने लगा. जब नड्डा जी ने ये कहा तो आपके दिल पर क्या गुज़री, क्या आपको दुःख नहीं हुआ?’

अमित शाह जी कह रहे हैं कि 75 साल में रिटायर होने वाला नियम नियम मोदी जी पर लागू नहीं होगा. मोहन भागवत जी से पूछना चाहता हूं कि जो नियम आडवाणी जी और अन्य कई नेताओं पर लागू हुआ वो मोदी जी पर लागू नहीं होगा?

दिल्ली शराब नीति में हुए कथित घोटाले के मामले में जेल से बाहर आने के बाद केजरीवाल ने इसी हफ़्ते दिल्ली के मुख्यमंत्री का पद छोड़ दिया था और आतिशी दिल्ली की नई मुख्यमंत्री बनी हैं.

केजरीवाल ने कहा था कि जब तक जनता उन्हें दोबारा मुख्यमंत्री बनने को नहीं कहेगी, तब तक वो सीएम की कुर्सी पर नहीं बैठेंगे.

साभार सहित


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