जापान, पापुआ न्यू गिनी और ऑस्ट्रेलिया के दौरे से पीएम नरेंद्र मोदी भारत लौट चुके हैं. गुरुवार सुबह दिल्ली के एयरपोर्ट पर पीएम मोदी जब लौटे तो स्वागत में बीजेपी कार्यकर्ताओं समेत विदेश मंत्री जयशंकर, बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा और दिल्ली में बीजेपी के कई सांसद भी मौजूद रहे.
इस दौरान पीएम मोदी के स्वागत में एक कार्यक्रम भी हुआ और कुछ लोगों की भीड़ भी दिखाई दी. इन लोगों के बारे में पीएम मोदी ने अपने भाषण में कहा कि ये लोग तड़के तीन बजे से एयरपोर्ट पर खड़े थे.
पीएम मोदी ने कहा, ”अब चुनौतियां बड़ी हैं, लेकिन चुनौतियों को चुनौती देना मेरा स्वभाव में है. चुनौती दो हैं. कभी किसी देश का अपनी जड़ों को मज़बूत करना बहुत बड़ी चुनौती होती है. अपने ग़रीब नागरिकों को ग़रीबी से बाहर निकालना. दुनिया इंतज़ार करने को तैयार नहीं है. दुनिया की अपेक्षाओ के अनुरूप भारत को नए शिखर पर ले जाना ये बहुत बड़ी चुनौती है.”
पीएम मोदी बोले, ”मेरे महान देश का गुणगान करते समय मैं आंखें नीचे नहीं करता. आंखें मिलाकर दुनिया से बात करता हूँ. ये सामर्थ्य इसलिए है क्योंकि हमारे देश ने पूर्ण बहुमत वाली सरकार बनाई है. पूर्ण बहुमत वाली सरकार का प्रतिनिधि जब दुनिया के सामने कोई बात बताता है तो दुनिया ये विश्वास करती है कि ये अकेला नहीं बोल रहा है, 140 करोड़ लोग बोल रहे हैं.”
जयशंकर ने क्या कुछ कहा?
इस स्वागत कार्यक्रम में विदेश मंत्री एस जयशंकर भी बोले. जयशंकर भी पीएम मोदी के साथ विदेश दौरे पर गए थे.
जयशंकर ने कहा, ”मैं इस दौरे का साक्षी था. मैं आपसे कुछ ऐसी चीज़ें बताना चाहता हूं जिससे आपको ये समझ आए कि दुनिया हमारे पीएम को कैसे देखती है.”
”जब पापुआ न्यू गिनी में पीएम मोदी हवाई जहाज़ से उतरे और जिस आदर सत्कार से पापुआ न्यू गिनी के प्रधानमंत्री ने उनका स्वागत किया, ये चित्र तो आप सबने देखा था. पर मैं आपको बताना चाहता हूं कि उसके पहले पापुआ न्यू गिनी के पीएम हमारे राजदूत से बात कर रहे थे. उन्होंने तब कहा था- मैं भारत के पीएम को सिर्फ़ पीएम नहीं मानता. मेरे लिए वो एक और अतिथि नहीं हैं. वो मेरे लिए गुरु हैं, विश्व गुरु.
मैं 45 साल से विदेश नीति कर रहा था, मैंने आज तक ऐसा दृश्य नहीं देखा था. हम फिर उसके बाद ऑस्ट्रेलिया गए. ऑस्ट्रेलिया के पीएम ने मोदी जी को द बॉस कहा. अब उसमें भी एक कहानी है. ये उनकी स्पीच में था नहीं.
ऑस्ट्रेलियाई पीएम ने बाद में मुझे कहा कि मेरी अंदर की भावना थी और मुझे प्रकट करने का अंदर से कहीं दबाव था. जब ऑस्ट्रेलिया जैसे देश के प्रधानमंत्री द बॉस कहते हैं, जब पापुआ न्यू गिनी के पीएम कहते हैं कि मैं मोदी जी को गुरु जी के स्तर पर मानता हूं. तो मैं आप सबको समझाना चाहता हूं कि जिस परिप्रेक्ष्य से दुनिया भारत को देख रही है, उसका कारण है पीएम मोदी का नेतृत्व.
हमारी जो नई छवि बनी है, उस बैठकों में बात हो रही थी वो परिवर्तन की बात हो रही थी. लोग पीएम मोदी से ये जानना चाह रहे थे कि आपने कोविड का मुकाबला कैसे किया, डिजिटल डिलिवरी कैसे की, 80 करोड़ आबादी को कोरोना के दौर में ख़ाना कैसे पहुंचाया.”
Compiled: up18 News
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