फर्जी पासपोर्ट-वीजा रैकेट का पर्दाफाश, मास्टरमाइंड जाकिर सहित 5 लोग गिरफ्तार

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डीसीपी एयरपोर्ट तनु शर्मा ने बताया कि इस रैकेट के बारे में पुलिस को तब पता लगा जब जून महीने में रवि रमेश भाई चौधरी नाम के एक शख्स को कुवैत में इमीग्रेशन डिपार्टमेंट ने डिपोर्ट कर दिया. इमिग्रेशन अधिकारियों ने जब सारे दस्तावेज की जांच की तो पता लगा कि पासपोर्ट भी नकली था. जिसके बाद पुलिस ने इस मामले में एफआईआर दर्ज की ली और जांच शुरू कर दी.

आधे घंटे में बनाकर देता था पासपोर्ट

पूछताछ में रवि रमेश ने पुलिस को तीन नाम बताए. एक जमील पिक्चरवाला, जाकिर और संजय का. जिसमें जाकिर यूसुफ शेख़ इस रैकेट का मास्टरमाइंड है. पुलिस ने इसे मुम्बई से गिरफ्तार किया. पुलिस ने जब इनका सेटअप देखा तो वो भी दंग रही गई. मुम्बई में अपने सेटअप में ये आधे घंटे के अंदर किसी भी देश का पासपोर्ट बनाकर उसमें फेक वीज़ा भी लगा देते थे. इन लोगों एक ऐसी मशीन ले रखी थी जिसकी मदद से ये किसी भी देश के स्टैम्प को तुरंत बना देते थे.

एक हजार से ज्यादा पासपोर्ट बना चुका गैंग

पुलिस ने इस मामले में अब तक कुल 5 लोगो को गिरफ्तार किया है. इसमे मास्टर माइंड जाकिर, संजय और इम्तियाज शामिल है. पुलिस के मुताबिक इनके तार दिल्ली, गुजरात और पंजाब में भी फैले हुए है. ये लोगो से 25 लाख से 60 से 70 लाख तक वसूल लेते थे. हालांकि इस गैंग के जरिये कोई गैंगस्टर और आतंकी संगठन बाहर भागने में सफल हो पाए हैं, ये अभी साफ नही है ऐसा अब तक की जांच में सामने आया है. पुलिस की मानें तो यह गैंग अब तक 1000 से ज्यादा लोगों को फर्जी वीजा और पासपोर्ट के जरिए विदेश भेजने में कामयाब रहा है.

पुलिस ने क्या कुछ बरामद किया

पुलिस  ने इनके मुंबई के सेटअप से 325 पासपोर्ट, कनाडा, अमेरिका और सिंगापुर समेत कई देशों के 175 वीज़ा , अलग अलग देशों के 1200 से ज्यादा जाली स्टैम्प, 11 अंतरराष्ट्रीय ड्राइविंग परमिट, 75 पासपोर्ट के जैकेट, 17 आधार कार्ड (Aadhar Card), 12 कलर प्रिंटर, जाली भारतीय पासपोर्ट बनाने के लिए डाई, युवी मशीन और बड़ी संख्या में दस्तावेज बरामद किया है. पुलिस अब इस मामले की जांच कर रही है पुलिस के मुताबिक उनकी टीम में गुजरात और पंजाब में लगातार छापेमारी कर रही हैं पुलिस का दावा है कि इस मामले में जल्द ही और गिरफ्तारियां होंगी.

-एजेंसी