आगरा। डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय की पीएचडी प्रवेश परीक्षा सत्र 2021 – 22 के पहले चरण का कल यानी सोमवार से विधिवत प्रारंभ हो जाएगा। अधिष्ठाता शोध प्रोफेसर विनीता सिंह ने बताया कि पीएचडी प्रवेश परीक्षा की तैयारियां प्रगति पर हैं। यह प्रवेश परीक्षा 3 अप्रैल 2022 को होगी।
कुलपति प्रोफेसर विनय कुमार पाठक ने पीएचडी प्रवेश परीक्षा के महत्वपूर्ण बिंदुओं को स्पष्ट करते हुए बताया कि सभी परास्नातक एवं स्नातक विभागों के शिक्षकों द्वारा शोध निर्देशन का कार्य किया जाएगा। विश्वविद्यालय से संबंध सभी अनुदानित एवं राजकीय महाविद्यालयों के ऐसे नियमित एवं पूर्णकालिक शिक्षक जिन्होंने स्वयं पीएचडी की उपाधि प्राप्त की है और जिनके कम से कम 5 शोध पत्र रैफरीड जर्नल में प्रकाशित हो चुके हैं, वे सभी शोध निर्देशक बनने के लिए अर्ह होंगे ।
पीएचडी प्रवेश परीक्षा के पहले चरण में शोध निर्देशक बनने के इच्छुक शिक्षकों के लिए कल से ऑनलाइन पोर्टल विश्वविद्यालय की वेबसाइट पर खोल दिया जाएगा। 7 फरवरी से लेकर 21 फरवरी 2022 तक ऑनलाइन आवेदन प्राप्त किए जाएंगे। ऑनलाइन आवेदन करने के पश्चात शिक्षक अपने आवेदन पत्र को डाउनलोड करेंगे और उसे स्वयं प्रमाणित करके अपने विभागाध्यक्ष एवं प्राचार्य से अग्रसारित कराएंगे।
पूर्ण रूप से भरा हुआ और अग्रसारित किया हुआ आवेदन पत्र 26 फरवरी 2022 तक विश्वविद्यालय के शोध विभाग में जमा किया जा सकता है। या फिर स्कैन करके विश्वविद्यालय के शोध विभाग के ईमेल [email protected] पर भी प्रेषित किया जा सकता है।
कुलपति ने कहा कि सभी शोध निर्देशकों को यह बताना भी अनिवार्य होगा कि वे अपने निर्देशन में कितने विद्यार्थियों को शोध कराना चाहते हैं। असिस्टेंट प्रोफेसर के लिए 4, एसोसिएट प्रोफेसर के लिए 6 और प्रोफेसर के लिए 8 सीट निर्धारित हैं।
ऐसे सभी शिक्षक जो दिसंबर 2021 में शोध निर्देशक बनने के लिए आवेदन कर चुके हैं , उन्हें पुनः आवेदन करने की आवश्यकता नहीं है। उन्हें केवल रैफरीड जर्नल में प्रकाशित 3 शोध पत्रों की छाया प्रति शोध विभाग में जमा करानी है या विभाग के मेल पर भी प्रेषित कर सकते हैं। क्योंकि नवीन शासनादेश के अनुसार शोध निर्देशक बनने के लिए कुल 5 शोध पत्र रैफरीड जर्नल में प्रकाशित होना आवश्यक है। शोध निर्देशकों की अर्हता जाँचने और विषयवार सीट निर्धारित करने के बाद 2 मार्च 2022 को प्रवेश परीक्षा का विज्ञापन जारी कर दिया जाएगा।