इसराइल ने कहा, गाजा में हर दिन ईंधन के दो ट्रकों की एंट्री की इजाज़त

INTERNATIONAL

ये ईंधन मदद पहुंचाने वाले ट्रकों और संयुक्त राष्ट्र की ओर से किए जा रहे राहत कार्यों के लिए इस्तेमाल होगा. बाकी ईंधन मोबाइल फ़ोन और इंटरनेट सर्विस के लिए इस्तेमाल होगा. ईंधन न होने से ये सेवाएं ठप हैं.

फ़लस्तीनी शरणार्थियों के लिए काम कर रही यूएन की एजेंसी ने कहा कि वहां मानवीय सहायता से जुड़े बुनियादी कामों के लिए हर दिन 1,60,000 लीटर ईंधन की ज़रूरत है.

गाजा पट्टी में ब्लैकआउट

दरअसल, गाजा पट्टी में ईंधन की कमी की वजह से इंटरनेट और मोबाइल सर्विस ठप है. ईंधन की कमी की वजह से जेनरेटर नहीं चल रहे हैं. ये जेनरेटर मोबाइल टावर को चला रहे थे.

टेलीकॉम कंपनी पैलटेल और जवाल ने कहा है कि उनके नेटवर्कों को चलाने के लिए ज़रूरी ईंधन ख़त्म हो गया है. इसराइल के साथ पांच सप्ताह पहले हमास से युद्ध शुरू होने के बाद सिर्फ ईंधन की एक बार डिलीवरी हुई है. संयुक्त राष्ट्र ने कहा है कि ब्लैकआउट की वजह से मानवीय सहायता से जुड़े काम बाधित हो रहे हैं. हालांकि शनिवार को इसराइल ने कहा है कि वो हर दिन गाजा में ईंधन के दो ट्रकों की एंट्री की इजाज़त देगा.

Compiled: up18 News