आगरा: क्रिप्टो करेंसी के नाम पर व्यापारी से 20 लाख रुपये ठगने का मामला सामने आया है।
आगरा के लॉयर्स कॉलोनी निवासी जयप्रताप सिंह की टीजे एंटरप्राइजेज नाम से फर्म है। जय प्रताप सिंह ने बताया कि दो साल पहले अगस्त माह में उनके पास रवि पंचाल नाम के व्यक्ति का फोन आया। उसने बताया कि वो सिलीकोन ड्राइव का मार्केटिंग हेड है। उनकी कंपनी क्रिप्टो करेंसी में डील करती है। क्रिप्टो करेंसी खरीदने के लिए कहा।
उसने बताया कि एक माह में क्रिप्टो करेंसी कोइल 50 पैसे से एक रुपये हो गए हैं। आने वाले 3-4 सप्ताह में ये चार रुपये और छह माह में 150 रुपये तक पहुंच जाएंगे। उसने बड़ा मुनाफा दिखाते हुए क्रिप्टो करेंसी खरीदने के लिए प्रोत्साहित किया। उसने ये भी कहाकि उनकी कंपनी के मालिक सुभाष जेवरिया ने दूसरी क्रिप्टो करेंसी एटीसी क्वाइन लांच किए थे, वो 50 पैसे से 180 रुपये पहुंच गए थे। उस समय जिन लोगों ने निवेश किया था, उन्होंने काफी लाभ कमाया।
जय प्रताप ने बताया कि उनके पास कई दिनों तक लगातार फोन आए। इसके बाद रवि पंचाल ने ऋषिकेश निवासी अपने भाई देवेंद्र पंचाल से उनकी बात कराई। देवेंद्र ने अपने आप को कंपनी मालिक सुभाष जेवरिया के साथ वित्त विभाग में अधिकारी बताया। उसने भी तीन माह में करेंसी के 100 रुपये तक पहुंचने का भरोसा दिलाया। ऐसे में उनकी बातों में आकर सिलोकोन ड्राइव कंपनी के आईसीआईसीआई बैंक एकाउंट में दस लाख रुपये ट्रांसफर कर दिए। इसके कुछ दिनों बाद उन्होंने फिर से 10 लाख रुपये और ट्रांसफर कर दिए। इस तरह 20 लाख रुपये उन्होंने क्रिप्टो करेंसी के लिए दे दिए।
जयप्रताप ने बताया कि उन्होंने एक सप्ताह में ही करेंसी के दाम बढ़ने की बात कही थी, लेकिन जब दस दिन तक कुछ नहीं हुआ तो उन्होंने रवि पंचाल को फोन किया।
उसने ट्रंक लिंक एप से जोड़ दिया और जल्द दाम बढ़ने पर मुनाफा दिलाने की बात करते रहे। जब लंबे समय तक कोई रेस्पांस नहीं आया तो उन्होंने फिर से बात की। उन्हें बताया गया कि तकनीकी कारणवश अभी रेट नहीं बढ़ रहे हैं। करीब तीन माह बीतने के बाद जब अपनी रकम वापस मांगी तो कंपनी के मालिक से जूम मीटिंग कराई। कंपनी मालिक ने उनसे कहाकि परेशान न हों, क्रिप्टो करेंसी में कई मंत्री, उद्योगपति और अभिनेताओं ने निवेश किया है। आठ माह बीतने के बाद जब कुछ नहीं हुआ तो रकम वापस मांगी। इस पर उन्होंने ब्याज सहित रकम वापस करने का आश्वासन दिया। मगर, इसके बाद से कंपनी के मालिक और अन्य दोनों कर्मचारियों ने उनके फोन उठाने बंद कर दिए।
जयप्रताप सिंह ने बताया कि फ्रॉड होने के बाद उन्होंने कंपनी के बारे में पता किया। तब पता चला कि उनकी तरह कई लोग शिकार हुए हैं। इसमें लखनऊ, चंडीगढ़, उत्तराखंड के कई लोग हैं। इसके अलावा कंपनी का मालिक इससे पहले भी फ्रॉड कर चुका है। मुंबई में उनके खिलाफ केस भी चल रहा है। दो साल से परेशान होने के बाद अब पीड़ित ने सुभाष जेवरिया, रवि पंचाल और देवेंद्र पंचाल के खिलाफ न्यू आगरा थाने में मुकदमा दर्ज कराया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है.
-एजेंसी