महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना ‘मनसे’ के प्रमुख राज ठाकरे ने एक ट्वीट करके योगी आदित्यनाथ की तारीफ़ की है.
उन्होंने ट्वीट किया है, “धार्मिक स्थलों से लाउडस्पीकर हटाने और ख़ासतौर पर मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने के योगी सरकार के फ़ैसले के लिए मैं उन्हें पूरे दिल से बधाई देता हूँ और उनके इस फ़ैसले पर पूरी तरह से उनके साथ खड़ा हूँ. दुर्भाग्य की बात है कि महाराष्ट्र में हमारे पास कोई ‘योगी’ नहीं है, हमारे यहाँ हैं तो सिर्फ़ भोगी. महाराष्ट्र सरकार को सद्बुद्धि मिले, यही हमारी प्रार्थना है.”
महाराष्ट्र में हनुमान चालीसा के पाठ को लेकर राजनीति तेज़ है. इस बीच राज ठाकरे ने भी अपने समर्थकों से मस्जिद के सामने हनुमान चालीसा का पाठ करने की अपील की थी.
राज ठाकरे ने गुड़ी पड़वा के दिन एक रैली को संबोधित करते हुए कहा था, “मैं धार्मिक रूप से कट्टर नहीं हूँ लेकिन मुझे अपने धर्म पर गर्व है. जब धर्म बना होगा तब क्या लाउडस्पीकर्स थे? क्या आपने ऐसे लाउडस्पीकर्स दूसरे देशों में देखा है?”
यह कोई पहला मौका नहीं है, जब मस्जिदों पर लगने वाले लाउडस्पीकर्स राजनीतिक मुद्दा बने हैं. शिवसेना और बीजेपी पहले भी इसको लेकर सवाल उठाती रही थीं. हालाँकि हिंदू त्योहारों के वक्त भी लाउडस्पीकर के ऊँचे शोर को लेकर सवाल उठते रहे हैं.
क्या घोषणा की है योगी आदित्यनाथ ने
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घोषणा की है कि नए धार्मिक स्थलों पर माइक लगाने की अनुमति नहीं दी जाएगी.
हाल ही में महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) के प्रमुख राज ठाकरे ने महाराष्ट्र में मस्जिदों के लाउडस्पीकर को लेकर चेतावनी दी थी जिसके बाद इस मुद्दे पर बहस हो रही थी.
महाराष्ट्र से शुरू हुई बहस के बाद अब सीएम योगी ने लाउडस्पीकर को लेकर घोषणा की थी.
यूपी के मुख्यमंत्री कार्यालय ने ट्वीट करके बताया है, “सभी को अपनी उपासना पद्धति को मानने की स्वतंत्रता है. माइक का प्रयोग किया जा सकता है, लेकिन यह सुनिश्चित हो कि माइक की आवाज़ उस परिसर से बाहर न आए. अन्य लोगों को कोई असुविधा नहीं होनी चाहिए. नए स्थलों पर माइक लगाने की अनुमति न दें.”
-एजेंसियां
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