आगरा: इंस्टाग्राम पर दोस्ती हुई फिर साथ जीने मरने की कसमें खाई। एक दिन जब परिवारी जनों ने डांट लगाई तो दोनों नाराज होकर घर से निकल गए। जेब खर्चे के लिए ढाई हजार रुपये लिए और ट्रैन में सवार हो गए। पहले दोनों नाबालिग जयपुर पहुंचे और फिर जयपुर से आगरा कैंट स्टेशन आ गए। यहां पर वह एस्केलेटर की नजदीकी बेंच पर बैठे हुए थे। तभी चेकिंग के दौरान आरपीएफ कर्मचारियों को शक हुआ। पूछताछ की गई तो वह संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए। आरपीएफ ने कानूनी कार्रवाई करते हुए दोनों को चाइल्ड लाइन के सुपुर्द कर दिया।
जानकरी के मुताबिक महिला आरक्षी गीता कश्यप ने दोनों लड़का लड़की से पूछताछ की। लड़के ने अपना नाम जितेंद्र पुत्र धर्मदास उम्र 16 वर्ष निवासी प्लॉट नंबर 779 खसरा नंबर 31/2 उत्तराखंड एनक्लेव दिल्ली थाना बुराड़ी जिला दिल्ली और लड़की निशा कुमारी पुत्री मदन मिश्रा उम्र 17 वर्ष निवासी झूलेलाल मंदिर कमला नेहरू पार्क ओल्ड सब्जी मंडी मलका गंज उत्तरी दिल्ली थाना बुराड़ी दिल्ली बताया। लड़की कक्षा 11 की छात्रा है तो लड़का 9वीं का छात्र है दोनों ही नाबालिक है।
इंस्टाग्राम पर हुई दोस्ती
चाइल्ड लाइन के धीरज कुमार से वार्ता हुई तो उन्होंने बताया कि पूछताछ करने पर किशोर-किशोरी ने बताया कि उन दोनों की इंस्टाग्राम पर दोस्ती हुई, दोस्ती प्यार में बदल गई। इस बीच एक दिन लडक़ी के पिता ने किसी बात को लेकर डांट लगा दी। इसी डांट से नाराज होकर उक्त लड़के के साथ घर से निकल आई।
जानकारी के मुताबिक दोनों ही 6 दिसंबर को ट्रेन के माध्यम से दिल्ली से जयपुर पहुंचे और जयपुर से ट्रेन से ही आगरा आ गए। आगरा कैंट स्टेशन पर वह एस्केलेटर के किनारे बैठे हुए थे। चैकिंग कर रही आरपीएफ को दोनों ही संदिग्ध नजर आए। पूछताछ की तो वह संतोषजनक जवाब नहीं दे सके। जिसके बाद उन्हें आरपीएफ थाने ले जाकर पूछताछ की तो पता चला कि दोनों नाबालिग है और घर से लूट कर भाग आए हैं।
आगरा में बाल कल्याण समिति के समक्ष पेश करने के बाद उनके अभिभावकों और दिल्ली पुलिस की मौजूदगी में दोनों नाबालिग को दिल्ली की कल्याण समिति के लिए भेज दिया गया।
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