बीजेपी रहेगी तो नौकरी और आरक्षण खत्म हो जाएगा, यह संविधान मंथन का समय : अखिलेश यादव

बीजेपी रहेगी तो नौकरी और आरक्षण खत्म हो जाएगा: अखिलेश यादव

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लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष व यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव सोमवार को प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि देश की सत्ता में अगर बीजेपी रहेगी तो नौकरी भी खत्म हो जाएगी और आरक्षण भी खत्म हो जाएगा। यह संविधान मंथन का समय है।

यादव ने कहा कि बीजेपी कहती है कि किसानों की आय दोगुनी होगी, क्या इस महंगाई में आय दोगुनी हुई? एक लाख किसान ने आत्महत्या की है अभी तक जबसे भाजपा की सरकार आई है। दुनिया में शायद इतना कर्ज किसी देश के ऊपर नहीं होगा। अखिलेश ने कहा कि जब से समाजवादी पार्टी अपना PDA परिवार बढ़ाने में जुट गई तो इस लड़ाई को कैसे कमजोर किया जाए, कैसे ध्यान हटाया जाए उसका भाजपा वाले रास्ता अपना रहे हैं।

उन्होंने कहा कि कहीं ऐसा तो नहीं कि भारतीय जनता पार्टी ने जिन उद्योगपतियों का कर्ज़ माफ किया हो उनसे इलेक्टोरल बॉन्ड्स भी लिए हो, बाद में फिर उन्हीं उद्योगपतियों को कर्ज दे दिया। यादव ने कहा कि देश में किसानों का कर्ज माफ नहीं हुआ है। किसान आत्महत्या कर रहे हैं। आंदोलन कर रहे हैं।

यूपी में यादव वोट बैंक को अपनी तरफ आकर्षित करने के लिए भाजपा द्वारा लखनऊ में आयोजित कराए गए यादव महाकुंभ पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा बहुत होशियार पार्टी है। वो इस तरह के तरीके अपनाते रहते हैं, लेकिन उनकी ये ट्रिक बहुत पुरानी है। इसके लिए हमारा वजीर तैयार है। उन्होंने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री के बारे में कहा कि वो तो प्यारे मोहन हैं।

बताते चलें कि भाजपा ने बीते दिनों लखनऊ में यादव महाकुंभ का आयोजन किया था जिसे मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने संबोधित करते हुए अखिलेश यादव पर कटाक्ष किया था। उन्होंने कहा था कि यादव समाज का कोई ठेकेदार नहीं है, समाज की अपनी पहचान है। मुझे मुख्यमंत्री बनाने से कुछ लोगों के पेट में दर्द हो रहा है। अगर दर्द होता है तो होता रहे, यादव समाज जब भी यूपी बुलाएगा वो आते रहेंगे। अखिलेश यादव ने इस पर जवाब दिया।

अखिलेश यादव की मौजूदगी में पूर्व मंत्री शिवकुमार बेरिया और रुदौली के पूर्व विधायक रुश्दी मियां बसपा छोड़कर सपा में शामिल हो गए। उनके साथ कई अन्य नेताओं ने भी सपा की सदस्यता ले ली। 2022 चुनाव के दौरान टिकट कटने पर बेरिया बसपा में गए थे। वह शिवपाल सिंह यादव की पार्टी में राष्ट्रीय महासचिव थे। टिकट नहीं मिलने पर गए थे। अब दोनों ने वापसी की है।

-एजेंसी