यूपी के रायबरेली में कोडीनयुक्त कफ सिरप के काले कारोबार का खुलासा, दो दवा दुकानें सील

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रायबरेली। मध्यप्रदेश में कफ सिरप बैन के बाद अब उत्तर प्रदेश में भी स्वास्थ्य विभाग सतर्क हो गया है। रायबरेली की जिलाधिकारी हर्षिता माथुर के निर्देश पर ड्रग इंस्पेक्टर शिवेंद्र प्रताप सिंह ने कोडीनयुक्त सिरप के अवैध कारोबार के खिलाफ सख्त कार्रवाई शुरू कर दी है। अभियान के दौरान दो दवा दुकानों को सील कर दिया गया है।

सूत्रों के मुताबिक, रायबरेली जिले में कोडीनयुक्त कफ सिरप का बड़े पैमाने पर दुरुपयोग और अवैध कारोबार सामने आया है। यह सिरप आमतौर पर नशे के लिए इस्तेमाल किया जाता है। मामले की गंभीरता को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने ताबड़तोड़ छापेमारी की।

लखनऊ से खरीदी गई 1.75 लाख शीशियां

जांच में खुलासा हुआ कि कल्लू का पुरवा स्थित अजय एजेंसी ने पिछले 10 महीनों में लखनऊ के ट्रांसपोर्ट नगर स्थित इंदिका लाइफ साइंसेज से करीब 1.75 लाख शीशी कोडीनयुक्त सिरप खरीदी थी। यह सिरप न केवल रायबरेली में, बल्कि लखनऊ और आसपास के कई जिलों में भी बेची गई।

जैसे ही प्रशासन को इस अनियमितता की जानकारी मिली, ड्रग इंस्पेक्टरों की टीम ने लखनऊ में जांच अभियान चलाया। जांच के दौरान रायबरेली से कनेक्शन सामने आया, जिसके बाद अजय एजेंसी को तत्काल सील कर दिया गया।

खीरों और शिवगढ़ में भी कार्रवाई

जांच के दायरे को बढ़ाते हुए ड्रग विभाग ने खीरों क्षेत्र में स्थित एक वेयरहाउस को भी सील कर दिया, जहां अवैध वितरण के साक्ष्य मिले। इसके अलावा शिवगढ़ क्षेत्र के एक मेडिकल स्टोर पर भी कार्रवाई की गई है।

ड्रग इंस्पेक्टर बोले – नशे के नेटवर्क पर कसा जाएगा शिकंजा

ड्रग इंस्पेक्टर शिवेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि यह नेटवर्क कई जिलों में फैला हुआ है। एजेंसी संचालक द्वारा कोडीनयुक्त सिरप की भारी मात्रा में बिक्री इस बात का संकेत है कि यह एक संगठित नशा कारोबार था। विभाग अब पूरे नेटवर्क की जांच कर रहा है ताकि इस अवैध व्यापार में शामिल सभी लोगों पर कार्रवाई की जा सके।