भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अरब देशों की यात्रा की हैं। दो दिन के यूएई के दौरे के बाद बुधवार रात वह कतर पहुंचे। पीएम मोदी के दौरे, भारत की विदेश नीति और उसके अरब देशों के साथ बेहतर होते ताल्लुकात पर पाकिस्तान के एक सीनियर वकील और राजनीतिक विशेषज्ञ बैरिस्टर हामिद बशानी ने प्रतिक्रिया दी है।
बशानी ने कहा है कि भारत ने लगातार अपनी विदेश नीति को अहमियत दी और लगातार उसको बेहतर किया। जिसका नतीजा ये हुआ है कि आज भारत का अरब देशों में डंका बज रहा है। वहीं दूसरी तरफ पाकिस्तान ने कोई स्पष्ट नीति बनाने की बजाय सिर्फ मुस्लिम मुल्क होने के नाते अरब देशों से संबंध रखे, जो चल नहीं पाया।
बशानी ने कहा, पाकिस्तान ने भारत को लेकर अरब मुल्कों में कई तरह के प्रोपेगैंडा फैलाए हैं। भारत में अल्पसंख्यकों पर जुल्म होता है और कई तरह की बातें की जाती रही हैं। अब इन बातों का कोई असर नहीं हो रहा है, पाकिस्तान की पोल अरब देशों के सामने खुल चुकी है। आज अरब देश पाकिस्तान की बजाय भारत को चुन रहे हैं। आज अरब देशों से भारत के ना सिर्फ व्यापार में रिश्ते बढ़ रहे हैं बल्कि सैन्य संबंध भी सुधर रहे हैं। सऊदी समेत कई अरब देशों से भारत साझा सैन्य अभ्यास कर रहा है। ये भारत की बढ़ती ताकत को दिखाता है।
अबू धाबी में मंदिर पर भी बोले बशानी
नरेंद्र मोदी के अबू धाबी में एक बड़े मंदिर का उद्घाटन करने के सवाल पर बशानी ने कहा कि ये भारत से मुस्लिम मुल्कों के संबंध तो दिखाता ही है, साथ ही दुनिया में बदलाव को भी दिखाता है। दुनिया में बीते कुछ देशों में तेजी से पलायन हुआ है। इसमें खासतौर से भारत-पाकिस्तान और दूसरे गरीब देशों से लोग अच्छे काम की तलाश में यूरोप और अरब के अमीर मुल्कों की तरफ गए हैं। ऐसे में जाहिर है कि अगर कहीं किसी दूसरे मजहब के लोग आएंगे तो उनके धार्मिक स्थल भी बनेंगे। यूरोप के तो कई मुल्कों में हम गुरुद्वारों, मस्जिदों और मंदिरों की बड़ी संख्या हम देखते हैं, जो बीते कुछ दशकों में बने हैं। अरब मुल्कों में ये थोड़ा देर से शुरू हुआ है लेकिन ये होना ही है।
भारत और पाकिस्तान की विदेश नीति पर बात करते हुए बैरिस्टर हामिद बशानी ने कहा कि भारत ने नेहरू के समय से एक गुटनिरपेक्ष नीति अपनाई और अपने हितों को देखते हुए फैसले लिए। पाकिस्तान ने शुरू से ही मिडिल ईस्ट का नेता बनना चाहा। पाकिस्तान ने बदलती दुनिया के साथ भी खुद को नहीं बदला और आज हालात ये है कि जिनका नेता बनने की बात पाकिस्तान ने की, उनसे मदद मांगनी पड़ रही है। आज पाकिस्तान की कोई तयशुदा विदेश नीति है ही नहीं, जिसका खामियाजा भी उसे भुगतना पड़ रहा है।
-एजेंसी
Discover more from Up18 News
Subscribe to get the latest posts sent to your email.