पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने दावा किया है कि स्टैबलिशमेंट की ओर से उन्हें लगातार फोन आ रहे हैं, लेकिन वे उनसे बात नहीं कर रहे। इमरान खान ने यहां तक कह दिया कि उन्होंने इनका नंबर भी ब्लॉक कर रखा है। दरअसल, पाकिस्तान में स्टैबलिशमेंट का मतलब सेना के टॉप रैंक अधिकारी, नौकरशाही के टॉप लोग और न्यायपालिका के टॉप लोगों से होता है। इमरान खान ने कहा कि जब तक चुनाव के तारीखों की घोषणा नहीं हो जाती, वह किसी से भी बात नहीं करेंगे।
इमरान खान ने कहा, ‘मुझे उम्मीद नहीं थी कि क्रिमिनल्स को सत्ता में बैठा दिया जाएगा। क्या इन्हें पाकिस्तान के भविष्य की कोई चिंता नहीं थी। इन्हें सत्ता में लाने से अच्छा होता कि ये पाकिस्तान पर परमाणु बम गिरा देते।’ इमरान ने आगे कहा कि उन्हें पिछले साल जून में ही इस साजिश की भनक लग गई थी। उनकी सरकार को कमजोर करने के लिए हर फैसले लिए गए।
आखिर दिन तक स्टैबलिशमेंट से अच्छे थे रिश्ते
स्टैबलिशमेंट के साथ अपने रिश्तों को लेकर इमरान खान ने कहा, ‘मेरे रिश्ते आखिरी दिन तक स्टैबलिशमेंट के साथ अच्छे थे। सिर्फ दो मामलों पर मतभेद थे। पहला ये कि स्टैबलिशमेंट चाहती थी कि उस्मान बुज़दार को मुख्यमंत्री पद से हटाया जाए और दूसरा ISI चीफ को बनाने के लिए।’ इमरान ने ये भी कहा कि अगर आम चुनावों की घोषणा जल्द से जल्द नहीं होती तो जनसैलाब इस्लामाबाद की ओर बढ़ेगा और ये सत्ता के लिए अच्छा नहीं होगा।
हमसे पहले ही अर्थव्यवस्था को बर्बाद कर दिया गया था
इमरान खान ने कहा, “डॉलर 200 रुपये के करीब पहुंच रहा है, शेयर बाजार गिर रहा है, सब कुछ महंगा हो रहा है. मीडिया को आज भी उसी तरह लोगों से महंगाई पर चर्चा करना चाहिए, जैसे मेरी सरकार के दौरान होता था।” इमरान ने कहा, ”10 साल तक भ्रष्ट नेताओं के शासन के बाद मेरी सरकार आई है। हमसे पहले ही अर्थव्यवस्था को पूरी तरह बर्बाद कर दिया गया था।”
-एजेंसियां
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