महाकुंभ मई तक जारी रखे बीजेपी सरकार, ताकि 100 करोड़ लोगों का बन सके रिकॉर्ड : अखिलेश यादव

महाकुंभ मई तक जारी रखा जाए, ताकि 100 करोड़ लोगों के आने का रिकॉर्ड बन सके: अखिलेश यादव

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कानपुर। कानपुर में सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव रविवार को जाजमऊ में सपा नेता महफूज अख्तर के बेटे की शादी में शामिल होने आए है। उन्होंने कहा कि कानपुर को कामपुर बनाने के लिए सपा सरकार ने काम किया, लेकिन भाजपा सरकार ने हमेशा कानपुर की उपेक्षा की। एक बार फिर से सरकार के बजट में कानपुर को मायूसी मिली है, लेकिन फिर भी यहां के उद्योगपति अपना उद्योग चला रहे हैं। उन्होंने गंगा नदी को लेकर कहा कि सरकार के नाकाम प्रोजेक्ट की वजह से गंगा का जलस्तर खत्म हो रहा है। यही हाल यमुना का भी होगा।

महाकुंभ मई तक जारी रखा जाए, ताकि 100 करोड़ लोगों के आने का रिकॉर्ड बन सके

वहीं, महाकुंभ को लेकर अखिलेश ने कहा कि इसे मई तक जारी रखा जाए, ताकि जो लोग स्नान करने से बच गए हों, वो भी स्नान कर सकें और 100 करोड़ लोगों के आने का रिकॉर्ड बन सके। अखिलेश यादव के स्वागत के लिए भारी संख्या में कार्यकर्ता भी मौजूद थे।

मैंने महाकुंभ में स्नान किया अब गंगा किससे धुलवाएंगे?

अखिलेश यादव ने कानपुर से बात शुरू की और फिर महाकुंभ, रोजगार, बजट के साथ महाकुंभ में स्नान को लेकर सरकार पर तंज भी कसा। अखिलेश यादव ने कहा सरकार मेरे स्नान करने पर मुझे घेर रही है, सब तो उसने धुलवा दिया मंदिर धुलवाया, सीएम आवास धुलवाया अब मैंने गंगा में स्नान किया अब गंगा किससे धुलवाएंगे। जब कन्नौज में मंदिर में गया तो मंदिर धो दिया, मुख्यमंत्री आवास को धो दिया।

अखिलेश ने कहा त्रिवेणी की शुद्धता पर सेंट्रल और स्टेट का प्रदूषण बोर्ड लड़ रहा है ये डबल इंजन की सरकार ने ही डबल ब्रेल्डर की सरकार है

अखिलेश ने कहा कानपुर आते समय देखा यहां गंगा का पानी सूख गया, मई-जून में क्या होगा पता नहीं? यहां बच्चे क्रिकेट खेल रहे हैं। आगरा में मुख्यमंत्री गए हुए हैं यहां गंगा सूख गई, वहां यमुना सूख जाएगी। अखिलेश ने कहा त्रिवेणी की शुद्धता पर सेंट्रल और स्टेट का प्रदूषण बोर्ड लड़ रहा है ये डबल इंजन की सरकार ने ही डबल ब्रेल्डर की सरकार है।

सदन में मुख्यमंत्री ने उर्दू को लेकर ऐसी बात बोली ओर स्पीकर मुस्करा रहे हैं। लोकतंत्र में इससे बड़ी शर्म की बात नहीं हो सकती। उर्दू को जिस तरह से बोला जा रहा है उसमें बहुत से शब्द है टर्किश है, जर्मन है, बाहर से लाए हुए शब्द हैं। अखिलेश ने कहा हमारे मुख्यमंत्री न स्टेशन की हिंदी जानते हैं न ही क्लच और स्टेयरिंग की हिंदी जानते हैं। इसलिए बहस करने से फायदा नहीं, वो कुछ जानते ही नहीं हैं।

-साभार सहित