Blood pressure के मरीजों को इस मौसम में सेहत के प्रति खास तवज्जो रखनी होती है क्योंकि इसकी वजह से दिल के मरीजों में सबसे ज्यादा दिक्कत देखने को मिलती है। सर्दी में खून और सांस की नली सिकुड़ जाती हैं ऐसे में Blood pressure और सांस को नियंत्रित रखना बहुत जरूरी है। ब्लड प्रेशर के मरीज सेंधा नमक का खाने में सेवन करें। इससे ब्लड प्रेशर नियंत्रित रहेगा।
साथ ही सांस के मरीज कफ न बने इसके लिए चावल, दही, उड़द की दाल,शुगर वाली चीजों के सेवन से बचें। दिल के मरीज गर्म पानी से नहाएं और भाप की सिंकाई करें। इससे खून की नली फूल जाती है, जिससे दिल में खून का आपूर्ति नियमित तरीके से जारी रहती है। यह जानकारी राजकीय आयुर्वेद कॉलेज के वरिष्ठ चिकित्सक डॉ. संजीव रस्तोगी ने दी।
सोंठ, काली मिर्च, तुलसी का मिश्रण फायदेमंद
मड़ियांव स्थित आयुर्वेद चिकित्सालय की डॉ. तृप्ति आर. सिंह ने बताया कि सोंठ, काली मिर्च, तुलसी के पत्ते को तीन-चार लीटर पानी में पका लें। फिर उसे छानकर रख लें और दिन भर उसको पियें। इससे कफ नहीं बनेगा। कफ न बनने से सांस और दिल की बीमारी की दिक्कत से बचा जा सकता है। पूरी सर्दी ऐसा करने से दिक्कत नहीं होती।
सर्दियों के मौसम में जरूरी है नियमित व्यायाम
सुबह-शाम न टहलें : लखनऊ सिविल अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक रहे डॉ. आशुतोष दुबे और पीजीआई के पूर्व विभागाध्यक्ष रहे के डॉ. एके श्रीवास्तव ने बताया कि प्रदूषण और सर्दी दीपावली के बाद से काफी बढ़ जाती है। ऐसे में सांस और दिल के मरीजों को इस बात का खास ख्याल रखना चाहिए कि वह सुबह और शाम को न टहलें, बल्कि दोपहर में धूप में टहलें।
अस्थमा रोगी ठीक से इनहेलर नहीं लेते हैं। सिर्फ 22 से 25 फीसदी लोग ही इनहेलर का इस्तेमाल कर पाते हैं इसलिए सांस के मरीज इनहेलर का इस्तेमाल सही से करें।
– एजेंसी
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